नई दिल्ली: Narayana Murthy Statement: इंफोसिस के को-फाउंडर नारायण मूर्ति ने हाल ही में देश के युवाओं को हफ्ते में 70 घंटे काम करने की सलाह दी थी. इस पर उन्हें सोशल मीडिया पर काफी तीखी टिप्पणियों और आलोचनाओं का भी सामना करना पडा है. इस पर देश के कई हेल्थ एक्सपर्ट्स ने भी अपनी बात रखी है. उनका कहना है कि युवाओं को काम के साथ-साथ अपनी प्राइवेट लाइफ भी बैलेंस करनी चाहिए.
'हेल्थ से खिलवाड़ ठीक नहीं'
डॉक्टरों ने लोगों को सचेत करते हुए कहा है कि अधिक काम करने से मधुमेह और सर्वाइकल स्पॉन्डिलाइटिस (ऐसी बीमारी जिसमें रीढ़ की हड्डी में सूजन आ जाती है) गंभीर बीमारियां समय से पहले हो सकती हैं. डॉ सुरनजीत चटर्जी का कहना है कि कड़ी मेहनत का मतलब यह नहीं है कि आप अपनी सेहत से समझौता करने. मेहनत करना ठीक है, लेकिन व्यक्ति को अपने स्वास्थ्य का भी ध्यान रखना चाहिए. काम के साथ-साथ हेल्दी खान-पान, स्वस्थ जीवन शैली, पर्याप्त नींद और एक्सरसाइज भी करनी चाहिए.
60 घंटे काम करना ठीक
डॉ चटर्जी कहा, 'मुझे लगता है कि सप्ताह में 70 घंटे काम करने की व्यवस्था जरूरत से ज्यादा महत्वाकांक्षी है. बैलेंस्ड और हेल्दी लाइफस्टाइल के प्रति सप्ताह ज्यादा से ज्यादा 60 घंटे काम करना ठीक है.' गौरतलब है कि नारायण मूर्ति ने कहा था कि देश के विकास के लिए युवाओं को सप्ताह में 70 घंटे काम करना चाहिए.
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