नई दिल्ली. ये अमेरिका ने अचानक एक नया फैसला किया है और उसे लगता है जर्मनी में तैनात उसके साढ़े छह हज़ार सैनिकों की अब वहां कोई आवश्यकता नहीं है. पेंटागन ने एक नई योजना पर काम शुरू कर दिया है और इन सैनिकों को अब नई जिम्मेदारी सौंपी जा सकती है.
अमेरिकी रक्षा विभाग की नई योजना
अमेरिकी रक्षा मंत्रालय ने पेंटागन की नई योजना को पूरा समर्थन दिया है. और अब जर्मनी से उसने अपने 6400 सैनिकों की वापसी का अंतिम निर्णय ले लिया है. इनमें से लगभग साढ़े पांच हज़ार सैनिक यूरोप के दूसरे देशों में भेजे जाएंगे. अमेरिकी रक्षा मंत्रालय ने पेंटागन की नई योजना के विषय में औपचारिक जानकारी देते हुए कहा कि इस योजना के लिए अरबों डॉलर का बजट रखा गया है और इसके पूर्ण होने में कई वर्ष लग जाएंगे.
पहले भी ट्रम्प ने जिक्र किया था
इसे राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की इच्छा पर होने वाला कार्यान्वयन भी माना जा सकता है. ट्रम्प पहले भी जर्मनी से सैनिकों को वापस बुलाना चाह रहे थे. ये सैनिक अब बड़ी संख्या में इटली जाएंगे और कुछ सैनिकों को बेल्जियम में अमेरिकी यूरोपीय कमान के मुख्यालय पर तैनात किया जाएगा. कुछ को यूरोप के विशेष अभियान में शामिल किया जाएगा. यद्यपि अभी इस पर पूरी सहमति बननी बाकी है, उसके बाद ही इस योजना पर पूरी तरह से कार्य हो सकेगा.
रूस को रोकने के लिए बनी योजना
अमेरिकी रक्षा मंत्री मार्क एस्पर ने हाल ही में इस योजना का समर्थन करते हुए इसे राष्ट्रपति के आदेश का कार्यान्वयन करार दिया था. उन्होंने इस योजना के उद्देश्य पर प्रकाश डालते हुए कहा कि यह रूस को रोकने, यूरोपीय सहयोगियों को पुन: आश्वस्त करने और सैनिकों को काला सागर तथा बाल्टिक क्षेत्रों में स्थानांतरित करने के अमेरिका के बड़े सामरिक लक्ष्यों को पूर्ण करने के लिए बनाई गई योजना है.