Badlapur School Case: यौन शोषण की शिकार बच्चियों ने अपने पैरेंट्स को क्या बताया? सुनकर हो जाएंगे हैरान
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Badlapur School Case: यौन शोषण की शिकार बच्चियों ने अपने पैरेंट्स को क्या बताया? सुनकर हो जाएंगे हैरान

Badlapur School Case: ठाणे के बदलापुर से एक हैरान कर देने वाला मामला आया, जिसके बाद भीड़ ने काफी बवाल किया. दरअसल एक 24 साल के शख्स ने नर्सरी में पढ़ने वाली छात्राओं का स्कूल में ही यौन शोषण किया.

Badlapur School Case: यौन शोषण की शिकार बच्चियों ने अपने पैरेंट्स को क्या बताया? सुनकर हो जाएंगे हैरान

Badlapur School Case: ठाणे के बदलापुर में हुआ हादसे ने सबको गुस्से से भरा हुआ है. बीते रोज रेलवे स्टेशन पर भी हजारों की भीड़ मौजूद रही और ट्रेन रोकने की कोशिश की. मामला दो स्कूल की बच्चियों के साथ सेक्शुअल असॉल्ट से जुड़ा हुआ है. दोनों जब टॉयलेट में थी तो स्वीपर ने उनके साथ छेड़खानी की इसी से गुस्साए लोग स्कूल में घुस गए और ट्रैफिक भी जाम कर दिया. 

ठाणे के बदलापुर का है मामला

बदलापुर के एक फेमस को एजुकेशन स्कूल में प्री-प्राइमरी क्लास  में पढ़ने वाली दो चार साल की लड़कियों के साथ 12-13 अगस्त को 23 साल के शख्स सफाईकर्मी अक्षय शिंदे ने कथित तौर पर यौन उत्पीड़न किया. यह उत्पीड़न लड़कियों के शौचालय में हुआ, जहां कथित तौर पर महिला कर्मचारियों की निगरानी नहीं थी. आरोपी को 1 अगस्त, 2024 को कॉन्ट्रैक्ट के आधार पर काम पर रखा गया था.

बाद में कैसे सामने आया मामला

यह मामला तब सामने आया जब एक लड़की ने दर्द की शिकायत की और अपने माता-पिता को अपनी आपबीती बताई. हैरान माता-पिता को तब पता चला कि दूसरी लड़की के साथ भी कथित तौर सेक्शुअल असॉल्ट किया गया था. 16 अगस्त की रात को शिकायत दर्ज की गई, जिसके बाद कथित अपराधी को गिरफ्तार कर लिया गया.

एफआईआर में क्या है?

इंडिया टुडे ने एफआईआर का हवाला देते हुए बताया कि यह घटना 13 अगस्त को सुबह 9 बजे से दोपहर 12 बजे के बीच हुई. लड़कियों में से एक के परिवार को सबसे पहले 13 अगस्त को संदेह हुआ, जब उन्होंने दूसरी लड़की के परिवार के सदस्य से बात की, जिसने उन्हें बताया कि वे यौन उत्पीड़न की शिकायत दर्ज कराने की योजना बना रहे हैं.

लड़कियों ने बताया कैसे उस शख्स ने की शर्मनाक हरकत
इसके साथ ही शिकायत में कहा गया है कि लड़कियां काफी डरी हुई थीं, और उन्होंने अपने माता पिता को बताया कि एक आमदी स्कूल में जिन्हें वह दादा (मराठी में बड़ा भाई) बोल रही थीं, उन्होंने उनके कपड़े उतारे और गलत तरीके से छुआ. परिवार ने कहा कि उन्होंने पुलिस में 16 अगस्त को शिकायत दर्ज कराई थी, लेकिन उनका कहना था कि इस मामले में एफआईआर 12 घंटे तक दर्ज नहीं की गई.

अचानक आ गई भीड़

मंगलवार को सुबह स्कूल के बाहर लड़कियों के माता-पिता मौन धरने पर बैठे थे, लेकिन अचानक सुबह 9.30 से 10 बजे के बीच भीड़ उनके साथ आ गई, जिससे पुलिस की अपर्याप्त तैनाती की वजह से हालात बिगड़ गए. प्रदर्शन का नेतृत्व कर रहीं मनसे नेता संगीता चेदवणकर तुरंत मौके से चली गईं, जबकि भारतीय जनता पार्टी के विधायक किसन कथोरे कथित तौर पर भीड़ को उग्र होते हुए देखते रहे.

इस मामले में स्कूल ने प्रिंसिपल और तीन स्टाफ मेंबर को सस्पेंड कर दिया है. लेकिन, नागरिकों का कहना है कि आरोपी को इस मामले में मौत की सज़ा दी जाए. ठाणे पुलिस ने भारी तादाद में पुलिस बल तैनात किया है, जबकि सरकारी रेलवे पुलिस (जीआरपी) आयुक्त रवींद्र शिसवे ने प्रदर्शनकारियों को आश्वासन देकर भीड़ को शांत करने की कोशिश की कि आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी. हालांकि, प्रदर्शनकारियों ने अपनी मांगों पर अड़े रहने से इनकार कर दिया और रेल रोको आंदोलन जारी रखा.

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