ITR Filing: अप्रेजल के बाद तुरंत ही टैक्स सेविंग के तरीकों को भी अपना लेना चाहिए, वरना इस काम में ढिलाई देने से आपकी सैलरी का अच्छा खास पैसा टैक्स के रूप में सरकार के पास भी जा सकता है.
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Tax Saving Calculator: नौकरी करने वाले लोगों को हर साल अप्रेजल का इंतजार रहता है. साथ ही नौकरीपेशा लोगों को अप्रेजल में अपनी सैलरी बढ़ने की उम्मीद होती है. मार्च महीने के बाद अप्रैल से ही लोगों को इंक्रीमेंट का इंतजार रहता है. इस दौरान कुछ को उम्मीद से बेहतर मिलता है तो कुछ लोगों की उम्मीदें धरी की धरी रह जाती है. हालांकि अप्रेजल के बाद तुरंत ही टैक्स सेविंग के तरीकों को भी अपना लेना चाहिए, वरना इस काम में ढिलाई देने से आपकी सैलरी का अच्छा खास पैसा टैक्स के रूप में सरकार के पास भी जा सकता है. ऐसे में आइए जानते हैं कि अप्रेजल के बाद टैक्स सेविंग के लिए क्या कुछ करें.
एंप्लॉइज प्रोविडेंट फंड (Employee's Provident Fund)
ईपीएफ (EPF) में पैसा जमा कर बेहतर रिर्टन हासिल किया जा सकता है. साथ ही टैक्स सेविंग के लिए भी ईपीएफ काफी फायदेमंद साबित होता है. फिलहाल के वक्त में ईपीएफ पर 8.1 फीसदी रिटर्न मिल रहा है. इसमें 80सी के तहत टैक्स छूट मिलती है. केवल नौकरीपेशा लोग ही इसमें निवेश कर सकते हैं. इसमें हर साल 2.5 लाख रुपये तक का निवेश किया जा सकता है और उस पर टैक्स बचाया जा सकता है.
पीपीएफ
पीपीएफ (PPF) खाते को बैंक और पोस्ट ऑफिस में खुलवाया जा सकता है. इसके तहत कम से कम 500 रुपये और ज्यादा से ज्यादा 1.5 लाख रुपये तक का निवेश किया जा सकता है. इस स्कीम में मैच्योरिटी पीरियड 15 साल का होता है. इसकी खास बात ये है कि इसमें डिपॉजिट, ब्याज और मैच्योरिटी अमाउंट तीनों पर टैक्स छूट मिलती है. पीपीएफ पर 7.1 फीसदी ब्याज मिलता है. ये दर तिमाही आधार पर बदल भी सकती है.
नेशनल पेंशन स्कीम
नेशनल पेंशन स्कीम (National Pension Scheme) के जरिए भी टैक्स सेविंग की जा सकती है. इस स्कीम में 60 साल की उम्र कर निवेश किया जा सकता है. इसमें लाइफ इंश्योरेंस कंपनी से हर साल जमा की गई 40% रकम से एक अमाउंट हासिल होती है, जबकि बाकी के हिस्से को निकाला जा सकता है. इस स्कीम में निवेश की गई रकम पर कोई टैक्स नहीं लगता है. हालांकि इससे मिलने वाली सालाना राशि पर टैक्स देना होता है.