दोनों आरोपी लोगों से फ्लैट के नाम पर पैसा इकट्ठा करने के बाद दफ्तरों में ताला लगा कर फरार हो गए. जिसके बाद बॉयर्स ने दिल्ली पुलिस को इस मामले की शिकायत दी थी. पुलिस ने जांच में ये भी पाया कि आरोपियों पर करीब दर्जन भर मामले पहले से ही दर्ज हैं और कई बैंकों में खाते खुले हुए हैं जिसे मामला दर्ज करने के बाद फ्रीज किया गया.
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नई दिल्ली: दिल्ली पुलिस (Delhi Police) की आर्थिक अपराध शाखा (EOW) ने बॉयर्स से धोखाधड़ी करने के आरोप में नीतू सिंह (Neetu Singh) नाम की एक महिला डायरेक्टर को मुंबई (Mumbai) से गिरफ्तार कर लिया है. महिला पर आरोप है कि उसने अपने पति के साथ मिलकर गाजियाबाद (Ghaziabad) में करीब 100 बॉयर्स के साथ 20 करोड़ की धोखाधड़ी की है. पुलिस के मुताबिक, नीतू सिंह पर दिल्ली एनसीआर में करीब दर्जन केस चल रहे है.
लोगों से ठगे 20 करोड़ रुपये
EOW में दर्ज मामले के मुताबिक, नीतू सिंह और उनके पति प्रमोद कुमार ने M/s Value Infracon India Pvt Ltd ने कंपनी बनाई और गाजियाबाद के राजनगर एक्सटेंशन में मीडोज विस्टा (Meadows Vista) के नाम से प्रोजेक्ट लांच किया. इस प्रोजेक्ट के नाम पर दोनों ने करीब 100 लोगों से 20 करोड़ रुपये जमा किए. इस दौरान लोगों को भरोसा दिलाया गया कि प्रोजेक्ट के पास गाजियाबाद अथॉरिटी से सारी जरूरी मंजूरी है और बॉयर्स को तय समय पर फ्लैट मिल जाएंगे.
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दूसरे अकाउंट में ट्रांसफर किया पैसा
लेकिन असल में ये जमीन प्राइवेट थी और इसे अलग-अलग लोगों से नीतू सिंह ने अपनी कंपनी ने नाम पर खरीदा था. इस जमीन पर हाउसिंग प्रोजेक्ट का लाइसेंस मांगा गया था, लेकिन प्राइवेट जमीन होने के कारण अथॉरिटी ने लाइसेंस देने से इनकार कर दिया. इसके बावजूद आरोपियों ने प्रोजेक्ट लॉन्च किया और लोगों से धोखाधड़ी की. इतना ही नहीं, बाद में सारा पैसा अपनी दूसरी कंपनी M/s Niparth Enterprises Pvt Ltd के अकाउंट में ट्रांसफर कर दिया.
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नोएडा-दिल्ली में ये सभी कंपनियां हैं फर्जी
EOW के जांच में ये भी पता लगा कि आरोपियों ने इसके अलावा भी कई और फर्जी कंपनियां खोल रखी थीं, जिनके नाम M/s Niparth Enterprises Pvt Ltd, M/s Value Infracon India Pvt Ltd, M/s Value Infrabuild India Pvt Ltd, M/s Value Infratech India Pvt Ltd, M/s Maxout Infrastructure Pvt Ltd हैं. ये सभी कंपनियां दिल्ली के 715, नौरंग हाउस, 21 केजी मार्ग, कनॉट प्लेस और नोएडा के H-198, 2nd फ्लोर, सेक्टर 63 में रजिस्टर्ड थीं.
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पुलिस से सभी आरोपियों को रिमांड पर लिया
EOW के मुताबिक, आरोपी प्रमोद कुमार सिंह पहले सीआरपीएफ (CRPF) में था. और अपनी पत्नी नीतू सिंह के साथ मिलकर इस धोखाधड़ी को अंजाम दिया. दोनों आरोपी मामला दर्ज होने के बाद से फरार थे जिसे बाद से लगातार छापोमारी की जा रही थी. पुलिस ने इस मामले में कंपनी के दूसरे डायरेक्टर प्रवीण कुमार और आशीष वर्मा को गिरफ्तार कर लिया था. EOW की टीम को जानकारी मिली की दोनो मुंबई के अंधेरी में छिपे हुए हैं. जिसके बाद पुलिस ने नीतू सिंह को गिरफ्तार किया लेकिन पति अभी भी फरार है. पुलिस ने नीतू सिंह को अदालत में पेश कर दो दिन के रिमांड पर लिया है ताकि बाकी आरोपियों के बारे में भी पता लगाया जा सके.
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