जम्मू में बल्ले-बल्ले..कश्मीर में सूपड़ा साफ, क्या घाटी में बन पाएगी बीजेपी सरकार?
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जम्मू में बल्ले-बल्ले..कश्मीर में सूपड़ा साफ, क्या घाटी में बन पाएगी बीजेपी सरकार?

Jammu Kashmir Exit Poll: देशभर की निगाहें जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव पर बनी हुई हैं. इसी कड़ी में अब एग्जिट पोल के भी अनुमान आ चुके हैं. लगभग सभी अनुमानों में जम्मू कश्मीर में कांग्रेस और नेशनल कॉन्फ्रेंस को बढ़त दिखाई गई है. लेकिन इन सबके बीच बीजेपी की क्या संभावनाएं हैं, इसे आइए समझते हैं.

जम्मू में बल्ले-बल्ले..कश्मीर में सूपड़ा साफ, क्या घाटी में बन पाएगी बीजेपी सरकार?

Jammu Kashmir Vidhan Sabha Chunav Exit Poll: आखिरकार देखते ही देखते जम्मू कश्मीर चुनाव के एग्जिट पोल के भी नतीजे भी सामने आ गए हैं. जम्मू कश्मीर की 90 सदस्यीय विधानसभा के लिए मतदान तो पूरा हो चुका था अब एग्जिट पोल भी सामने आ गया. जैसी संभावना थी कुछ वैसा ही हुआ है. जम्मू रीजन में बीजेपी ने जबरदस्त प्रदर्शन दिखाया है जबकि कश्मीर घाटी में बीजेपी को मायूसी हाथ लगी है और घाटी में कांग्रेस-नेशनल कॉन्फ्रेंस ने जोरदार प्रदर्शन किया है. ऐसे में राजनीतिक पंडित इस नफा-नुकसान में लग गए हैं कि आखिर अंततः किसकी सरकार बन सकती है.

पहले बात कश्मीर घाटी की.. 

असल में कश्मीर घाटी में कुल मिलाकर 47 सीटों पर चुनाव हुए. तमाम एग्जिट पोल का लब्बोलुआब यह आया कि इंडिया गठबंधन ने यहां बढ़त हासिल की है. कांग्रेस और नेशनल कॉन्फ्रेंस गठबंधन को यहां 29-33 सीटें मिलने का अनुमान है. जबकि बीजेपी को मुश्किल से एकाध सीटें मिल सकती हैं, बाकी सीटों पर निर्दलीय इस बार जोरदार प्रदर्शन करते दिख रहे हैं. ऐसे में कश्मीर घाटी से ही कांग्रेस और नेशनल कॉन्फ्रेंस गठबंधन ने अपना दावा पुख्ता कर दिया है.

जम्मू ने बीजेपी को दिया आशीर्वाद

अब इधर जम्मू रीजन में बीजेपी ने एग्जिट पोल में जबरदस्त प्रदर्शन किया है. जम्मू रीजन की कुल 43 सीटों में से बीजेपी को 30 के आसपास दिख रही है जबकि कॉन्फ्रेंस और कांग्रेस को संयुक्त रूप से 11 से 15 सीट पर है. अगर पीडीपी की बात करें तो उसे कश्मीर और जम्मू दोनों जगहों पर भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है. दोनों रीजन में मिलाकर भी बमुश्किल उसकी 12 से 15 सीटें पहुंच रही हैं. पीडीपी से बेहतर प्रदर्शन तो निर्दलीय उम्मीदवारों का दिख रहा है. 

किसकी सरकार बनती दिख रही है?

अब सवाल है कि जम्मू कश्मीर में सरकार किसकी बनती दिख रही है. यह तो तय है कि नेशनल कॉन्फ्रेंस और कांग्रेस को तगड़ी बढ़त मिल रही है लेकिन निर्णायक रूप से सरकार बनाने के लिए उसे किसी ना किसी का साथ लेना पड़ेगा. ऐसे में आजाद उम्मीदवारों और पीडीपी की भूमिका बढ़ जाएगी. वहीं अगर बीजेपी अपनी सरकार बनाने को देख रही है तो उसे कश्मीर घाटी के लभगभ सभी विजयी आजाद उम्मीदवारों को अपने साथ लाना होगा, साथ ही पीडीपी को भी अपने पाले में खींचना होगा. 

गुणा-गणित भी शरू हो गया है 

अगर एग्जिट पोल का अनुमान ही सही रहा तो बीजेपी के लिए सरकार बनाने का आंकड़ा दूर की कौड़ी साबित होगा. लेकिन अगर इन आंकड़ों से आगे बीजेपी की सीटें आएंगी तो जम्मू कश्मीर में बीजेपी इतिहास रच देगी. अब निगाहें 8 अक्टूबर पर रहेंगी जब इस चुनाव का परिणाम आएगा. इन सबके बीच राजनीतिक एक्सपर्ट्स विश्लेषण में जुट गए हैं कि आखिर क्या होने वाला है. वैसे अब बहुमत का आंकड़ा भी 48 हो गया है क्योंकि नए नियमों के मुताबिक उपराज्यपाल ने पांच विधायकों को नॉमिनेट कर दिया और कुल सीटों का आंकड़ा 90 से बढ़कर 95 हो गया है. 

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