Jharkhand Politics: लोकसभा चुनाव में मुख्यमंत्री चंपई सोरेन और कल्पना सोरेन की जोड़ी ने बखूबी अपनी जिम्मेदारी को निभाया. झारखंड मुक्ति मोर्चा के कार्यकारी अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की गैर मौजूदगी में पार्टी की कमान संभालते हुए बेहतर प्रदर्शन किया.
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रांचीः Jharkhand Politics: लोकसभा चुनाव में मुख्यमंत्री चंपई सोरेन और कल्पना सोरेन की जोड़ी ने बखूबी अपनी जिम्मेदारी को निभाया. झारखंड मुक्ति मोर्चा के कार्यकारी अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की गैर मौजूदगी में पार्टी की कमान संभालते हुए बेहतर प्रदर्शन किया. झारखंड में चंपई सोरेन ने 100 से ज्यादा सभाएं कर वोटरों को साधा तो वहीं कल्पना सोरेन ने 50 बड़ी और 300 छोटी सभाओं की बदौलत अपने गढ़ को तो मजबूत किया, साथ ही साथ झारखंड वासियों के भी दिल में एक छाप छोड़ दी. झारखंड मुक्ति मोर्चा दोनों की अगुवाई से सशक्त होने की बात कह रहा है तो वहीं भारतीय जनता पार्टी झामुमो के भविष्य पर तंज कस रही है.
चंपई और कल्पना सोरेन की अगुआइ ने जेएमएम को दी मजबूती
झारखंड मुक्ति मोर्चा के प्रवक्ता मनोज पांडे ने मुख्यमंत्री चंपई सोरेन और कल्पना सोरेन के द्वारा की गई अगुवाई से बेहद उत्साहित है. उन्होंने कहा कि जिस वक्त झारखंड मुक्ति मोर्चा के कार्यकारी अध्यक्ष हेमंत सोरेन को बगैर किसी आरोपी को जेल में सलाखों के पीछे भेज दिए गए. उस वक्त पार्टी के सामने एक विपत्ति सामने आ गई थी कि आखिर पार्टी कैसे आगे चलेगी. लेकिन गठबंधन के सहयोगियों के साथ चंपई सोरेन ने मुख्यमंत्री की भी बढ़िया भूमिका निभाई तो वहीं कल्पना सोरेन भी एक मजबूत नेत्री बनकर उभरी. मनोज पांडे ने कहा कि जिस तरीके से पार्टी को मजबूती मिली है. वह दिन दूर नहीं जब विधानसभा चुनाव में भी हम आसानी से बहुमत के आंकड़े को पार कर लेंगे.
बीजेपी ने जेएमएम के भविष्य पर ली चुटकी
वहीं बीजेपी ने जेएमएम के भविष्य पर चुटकी ली. राज्यसभा सांसद दीपक प्रकाश ने कहा कि कल्पना सोरेन ने विधायक नहीं मुख्यमंत्री बनने के लिए चुनाव लड़ा है और जब मुख्यमंत्री बनने का सवाल होगा तो पार्टी में अंतर विरोध कोई रोक नहीं सकता है. क्योंकि जिस कार्यकर्ता ने पार्टी का झंडा उठाया वो ठगा महसूस कर रहे हैं और अगर जैसी चर्चा चल रही है वैसा हुआ तो जेएमएम के कार्यकर्ताओं को आघात लगेगी और एक बार फिर परिवार बात पर मोहर लगेगी.
भारतीय जनता पार्टी के बयान पर पलटवार करते हुए कांग्रेस प्रवक्ता राकेश सिन्हा ने उन्हें ज्ञान न देने की नसीहत देते हुए कहा कि लोकसभा चुनाव के परिणाम के बाद भाजपा बेचैन हो गई है. इसलिए अपने घर को छोड़ दूसरे के घर में तांक झांक रही है. उन्होंने कहा कि कौन हमारा मुख्यमंत्री है कौन मुख्यमंत्री होगा, राज्य का विकास कैसे होगा, यह हमारा मामला है. वो अपने घर के अंतर्कलह को देखें क्योंकि आने वाले दिनों में बाबूलाल मरांडी की विदाई तय है.
इनपुट- धीरज ठाकुर, राँची
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