भारत-पाकिस्तान के बॉर्डर पर मौजूद करतारपुर साहिब गुरुद्वारा श्रद्धालुओं की आस्था का बड़ा केंद्र है. सूत्रों से आई खबर के मुताबिक पाकिस्तान ने करतारपुर कॉरिडोर को भारतीयों के लिए खोलने का फैसला लिया है.
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नई दिल्ली: भारत-पाकिस्तान के बॉर्डर पर मौजूद करतारपुर साहिब गुरुद्वारा श्रद्धालुओं की आस्था का बड़ा केंद्र है. सूत्रों से आई खबर के मुताबिक पाकिस्तान ने करतारपुर कॉरिडोर को भारतीयों के लिए खोलने का फैसला लिया है. कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू की मेहनत रंग लाई और पाकिस्तान करतारपुर कॉरीडोर खोलने को राजी हो गया. पिछले दिनों पाकिस्तान के नए प्रधानमंत्री इमरान खान के शपथ ग्रहण समारोह में गए नवजोत सिंह सिद्धू को काफी तंज सुनने पड़े थे लेकिन ये अच्छी खबर उनके साथ ही बाकी लोगों के लिए भी राहत भरी है. बता दें कि सिख समुदाय लंबे अरसे से इसे खोलने की मांग कर रहा था.
आ रही खबर के मुताबिक भारतीय बिना वीजा के पाकिस्तान जाकर गुरुद्वारे में माथा टेक पाएंगे. इस बात की जानकारी देते हुए पंजाब के कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह गुरुनानक जी की 550वीं पुण्यतिथि पर साल 2019 में खोला जाएगा.
They (Pakistan) are ready to open the corridor of Kartarpur Sahib on the 550 birth anniversary of Guru Nanak Ji. There can be no bigger happiness than this for the people of Punjab: Punjab Minister Navjot Singh Sidhu pic.twitter.com/mBLq5XXXiE
— ANI (@ANI) September 7, 2018
इसी के साथ सिद्धू ने सभी लोगों को फैसले के लिए बधाई दी और कहा कि इस फैसले से फासले कम होंगे. लोगों की अपील बाबा ने सुनी है. इसका झप्पी से कोई सरोकार नहीं ये बाबा की कृपा है. सिद्धू ने कहा कि मेरे दोस्त इमरान खान ने मेरा जीवन सफल कर दिया. लाखों सिख श्रद्धालुओं की इच्छा पूरी हो रही है, राजनीति को गुरुघर से अलग कर दो.
करतारपुर बॉर्डर खोलने के लिए राजी हुआ पाकिस्तान, सिद्धू बोले- 'दोस्त इमरान ने जीवन सफल कर दिया'
साल 2019 में नवंबर में आने वाले प्रकाश पर्व पर करतारपुर कॉरिडोर को खोल दिया जाएगा. 22 सितंबर, 1539 को गुरुनानक की मृत्यु करतारपुर में ही हुई थी. करतारपुर में ही गुरुनानक साहब का समाधि स्थल है, जिसे करतारपुर साहिब के नाम से जाना जाता है.