कलबुर्गी की पत्नी उमादेवी कलबुर्गी ने सुप्रीम कोर्ट में दिवंगत पत्रकार की हत्या की जांच विशेष जांच टीम से कराने के लिए याचिका दायर की थी.
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नई दिल्ली: एमएम कलबुर्गी हत्याकांड की जांच सुप्रीम कोर्ट ने उसी SIT को सौंप दी है, जो गौरी लंकेश हत्या मामले की जांच कर रही है. अब तक जांच कर्नाटक CID कर रही थी. कर्नाटक हाईकोर्ट की धारवाड बेंच जांच की निगरानी करेगी. दरअसल, इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने जांच एजेंसियों एनआईए, सीबीआई, महाराष्ट्र और कर्नाटक की सरकारों को नोटिस जारी कर छह सप्ताह में जवाब मांगा था. कलबुर्गी की पत्नी उमादेवी कलबुर्गी ने सुप्रीम कोर्ट में दिवंगत पत्रकार की हत्या की जांच विशेष जांच टीम से कराने के लिए याचिका दायर की थी.
सुप्रीम कोर्ट ने लेखक की पत्नी उमा देवी कलबर्गी की याचिका पर जांच एजेंसियों तथा दोनों राज्य सरकारों को नोटिस जारी किया था. कलबर्गी की पत्नी की ओर से दायर याचिका में आरोप लगाया गया है कि उनके पति की हत्या के मामले में अब तक कोई ठोस जांच नहीं की गई है. आपको बता दें कि हंपी विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति और जाने-माने विद्वान तथा पुरालेखवेत्ता कलबर्गी की 30 अगस्त, 2015 को कर्नाटक के धारवाड़ में उनके आवास पर गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. वह 77 वर्ष के थे. वह साहित्य अकादमी पुरस्कार से सम्मानित साहित्यकार थे.
कलबर्गी की पत्नी ने कहा है कि उनके पति और नरेंद्र दाभोलकर तथा गोविंद पंसारे की हत्या के तार आपस में जुड़े हुए हैं. दाभोलकर की अगस्त 2013 और पंसारे की फरवरी 2015 में हत्या कर दी गई थी.कलबर्गी की पत्नी ने कहा कि दाभोलकर और पंसारे हत्याकांड की जांच बहुत लचर तरीके से की जा रही है. हत्यारों की पकड़ने की दिशा में कोई प्रगति नहीं है.