केरल: दलित महिला का रेप-मर्डर केस, कोर्ट ने असम के मजदूर को दोषी ठहराया
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केरल: दलित महिला का रेप-मर्डर केस, कोर्ट ने असम के मजदूर को दोषी ठहराया

इस मुकदमे में मोहम्मद अमीरूल इस्लाम को भारतीय दंड संहिता की धाराओं 302 (हत्या), 376 (बलात्कार), 376 (ए) (महिला की हत्या करके या फिर उसे पूर्णतया निश्चल बनाकर उसके साथ बलात्कार करना) के तहत दोषी ठहराया गया है. 

प्रतीकात्‍मक तस्‍वीर

कोच्चि: स्थानीय अदालत ने केरल में पिछले वर्ष विधि विषय की दलित छात्रा के साथ बलात्कार और उसकी हत्या के मामले में असम से आए एक मजदूर को आज दोषी करार दिया. एर्नाकुलम की प्रधान सत्र अदालत के न्यायाधीश एन. अनिल कुमार संभवत: इस मामले में सजा बुधवार को सुनाएंगे. इस मुकदमे में मोहम्मद अमीरूल इस्लाम को भारतीय दंड संहिता की धाराओं 302 (हत्या), 376 (बलात्कार), 376 (ए) (महिला की हत्या करके या फिर उसे पूर्णतया निश्चल बनाकर उसके साथ बलात्कार करना) के तहत दोषी ठहराया गया है. आरोपी को धारा 201 (सबूत मिटाना) और एससी/एसटी कानून की विभिन्न धाराओं के तहत दोषी नहीं ठहराया गया है.

अदालत ने छह दिसंबर को मामले की सुनवाई पूरी कर ली थी और फैसला मंगलवार के लिए सुरक्षित रख लिया था. असम से यहां मजदूरी करने आये और मामले में एकमात्र आरोपी इस्लाम पर एक महिला के साथ बर्बरता से बलात्कार करने और उसकी हत्या करने का आरोप लगाया गया था. इस्लाम ने विधि विषय की दलित छात्रा की 28 अप्रैल, 2016 को बलात्कार करने के बाद हत्या कर दी थी.

पिछले वर्ष अप्रैल से शुरू हुई सुनवाई के दौरान करीब 100 गवाहों के साथ जिरह हुआ. अभियोजन पक्ष ने इसे दुलर्भतम से दुर्लभ मामला बताया है. पीड़िता की मां ने आशा जतायी है कि उनकी बेटी को पूरा न्याय मिलेगा. उन्होंने दोषी के लिए मौत की सजा की मांग की है.

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