राजस्थान में जयपुर के फुलेरा में बीजेपी के जन आक्रोश यात्रा बधाल से रेनवाल कस्बे में पहुंची लेकिन रेनवाल कस्बे में बीजेपी कार्यकर्ताओं की कमी खलती हुई दिखाई दी.
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Phulera, Jaipur News: बीजेपी के जन आक्रोश यात्रा बधाल से रेनवाल कस्बे में पहुंची लेकिन रेनवाल कस्बे में बीजेपी कार्यकर्ताओं की कमी खलती हुई दिखाई दी.
स्थानीय कार्यकर्ता दूरभाष के माध्यम से बीजेपी कार्यकर्ताओं से संपर्क करते हुए नजर आए तथा जन आक्रोश यात्रा में शामिल होने की गुजारिश करते हुए देखे गए लेकिन इसके बावजूद भी 4 घंटे के कड़ी मशक्कत के बाद 2 दर्जन से अधिक कार्यकर्ता नहीं जुटा पाए.
प्रदेश में राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा को कड़ी टक्कर देने एवं कांग्रेस सरकार के 4 साल का कार्यकाल पूरा होने पर बीजेपी की ओर से निकाली जा रही जन आक्रोश यात्रा का फुलेरा विधानसभा क्षेत्र में तीसरे दिन ही दम निकल गया.
कागजों में भारी बीजेपी सोमवार को सड़क पर निकली तो बेदम नजर आई. कांग्रेस की भारत जोड़ो यात्रा को टक्कर देने एवं कांग्रेस की दमनकारी और जन विरोधी नीतियों को आम जन तक पहुंचाने के लिए निकाली जा रही जन आक्रोश यात्रा को लेकर स्थानीय संगठन द्वारा भले ही तीन बार मीटिंग का आयोजन किया. इसमें कार्यकर्ताओं को एकजुट होने एवं जन आक्रोश यात्रा को सफल बनाने का आह्वान किया गया था. लेकिन अफसोस जनक बात यह है कि किशनगढ़ रेनवाल बीजेपी संगठन की जंबो कार्यकारिणी सोमवार को नदारद रही.
कार्यकारिणी पर भी अब सवाल उठा दिए
इसके अलावा बीजेपी के विभिन्न मोर्चों के अधिकतर पदाधिकारी एवं सदस्यों की अनुपस्थिति रही. हालांकि दो-तीन दिन पूर्व अशोक टावर एवं बाद में एक निजी होटल में आयोजित बीजेपी संगठन एवं कार्यकर्ताओं की बैठक में जन आक्रोश यात्रा को सफल बनाने एवं भारी भीड़ जुटाने के लिए संगठन की ओर से बड़े-बड़े दावे किए गए थे लेकिन जनाक्रोश यात्रा रैली में दो तीन दर्जन कार्यकर्ताओं की उपस्थिति ने मंडल अध्यक्ष लक्ष्मीकांत तोतला की कार्यकारिणी पर भी अब सवाल उठा दिए हैं.
कार्यक्रम को भी स्थगित करना पड़ा
उधर बीजेपी संगठन के विभिन्न मोर्चों के अध्यक्ष भी अपनी जंबो टीम के पदाधिकारियों एवं सदस्यों को कार्यक्रम में बुलाने में नाकाम साबित हुए हैं, जिसके चलते दोपहर में पूर्व मंत्री गजेंद्र सिंह खींवसर एवं फुलेरा विधायक निर्मल कुमावत के रैली में शामिल होने के कार्यक्रम को भी स्थगित करना पड़ा हालांकि जन आक्रोश रथ यात्रा के जरिए क्षेत्र की समस्याओं और कांग्रेस सरकार की विफलताओं को विधानसभा में जन-जन तक पहुंचाने के उद्देश्य से जन आक्रोश यात्रा के रथ गांव-गांव, ढाणी-ढाणी तक जाकर चौपाल में प्रचार-प्रसार से सरकार के खिलाफ माहौल बनाने का प्रयास करेंगे.
11 बजे तक शुरू नहीं हो सका कार्यक्रम
3 दिसंबर को फुलेरा विधानसभा क्षेत्र के उत्तराखंड के नाम से मशहूर बधाल कस्बे से फुलेरा विधायक निर्मल कुमावत, राज्यसभा सांसद घनश्याम तिवारी एवं पूर्व मंत्री सी आर चौधरी ने जोश के साथ इस जन आक्रोश यात्रा का शुभारंभ किया था. फुलेरा विधानसभा के बधाल कस्बे से महज 20 किलोमीटर दूर किशनगढ़ रेनवाल शहर में यात्रा के पहुंचते-पहुंचते दम निकल जाने से आज पूरा कार्यक्रम विफल साबित हुआ. सुबह 9 बजे से किसान शिव मंदिर के सामने से रथ यात्रा का शुभारंभ होना था लेकिन कार्यकर्ताओं की अनुपस्थिति के चलते यह कार्यक्रम 11 बजे तक शुरू नहीं हो सका.
बाद में वहां मौजूद संगठन एवं पार्टी के करीब 2 दर्जन के करीब बीजेपी के लोगों ने कांग्रेस सरकार के खिलाफ अपना आक्रोश दिखाया. हालांकि सोमवार को रेनवाल में जन आक्रोश रथयात्रा के शुभारंभ अवसर पर विधायक निर्मल कुमावत एवं सांसद राज्यवर्धन सिंह राठौड़ भी नदारद रहे. बाद में प्रतिपक्ष के नेता सीताराम कुमावत और मंडल अध्यक्ष लक्ष्मीकांत तोतला की अगुवाई में रथ यात्रा निकाली गई, जो शहर के विभिन्न मार्गों से होते हुए मुख्य चौपड़ पर पहुंची.
वादे पर सरकार नहीं उतरी खरी
इस अवसर पर नगर बीजेपी मंडल अध्यक्ष लक्ष्मीकांत तोतला ने कहा कि कांग्रेस ने सरकार बनाने पर 10 दिन में कर्ज माफी का नारा दिया. बेरोजगारों को भत्ता, बिजली दरें कम करने और पेयजल की व्यवस्था सही करने का भी वादा किया था, लेकिन एक भी वादे पर खरी नहीं उतरी. देश में रेप के मामलों में राजस्थान नंबर वन पर है. केंद्र सरकार की जल जीवन मिशन योजना को कांग्रेस ने धरातल पर उतरने ही नहीं दिया. उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र ने 12 लाख टन खाद उपलब्ध करवाया, लेकिन कालाबाजारी के कारण लोगों को नहीं मिल पाया. प्रदेश के हालात यह है कि किसान अपनी फसल दूसरे राज्यों में जाकर बेचने को मजबूर है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस के नेता सत्ता के लिए 4 साल से आपस में ही उलझ रहे हैं. ऐसी सरकार आज तक किसी ने नहीं देखी है.
क्या बोले प्रतिपक्ष के नेता सीताराम कुमावत
प्रतिपक्ष के नेता सीताराम कुमावत ने कहा कि प्रदेश में कानून व्यवस्था की हालत बदतर है. घर से लेकर सड़क और मंदिर में भगवान की पूजा करने वाले पुजारी भी सुरक्षित नहीं है. नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो के आंकड़े भी गहलोत सरकार की पोल खोलने के लिए काफी है. राजस्थान में सड़कों और स्कूलों की हालत भी बदतर है.
ये लोग रहे उपस्थित
इस अवसर पर मंडल अध्यक्ष लक्ष्मीकांत तोतला, महामंत्री बनवारी लाल प्रजापत, युवा मोर्चा अध्यक्ष राजेंद्र रिंग्सया, महिला मोर्चा अध्यक्ष ममता आशीवाल, महिला मोर्चा महामंत्री डॉक्टर अनिता कुमावत, प्रतिपक्ष के नेता सीताराम कुमावत, पार्षद सांवरमल कुमावत, नितिन शर्मा, पार्षद प्रतिनिधि बंशीधर कुमावत, अशोक माचीवाल, महेंद्र कुमावत, अश्विनी स्वामी, पीयूष खटनावलिया सहित दर्जनभर कार्यकर्ता उपस्थित थे.
जन आक्रोश यात्रा पर भारी रहे सावे
प्रदेश में कांग्रेस सरकार की विफलता को लेकर निकाली जा रही बीजेपी की जन आक्रोश रथ यात्रा पर सावों का भी असर दिखाई दे रहा है. प्रदेश में इन दिनों शादी समारोह की धूम मची हुई है, ऐसे में हर व्यक्ति शादी एवं अन्य कार्यक्रमों में व्यस्त है, जिसके चलते कार्यकर्ता एवं आम नागरिक इस जन आक्रोश रथ यात्रा में शामिल नहीं हो पा रहा है. सोमवार को किशनगढ़ रेनवाल में निकाली गई जन आक्रोश रथयात्रा में भी सांवो का असर देखने को मिला.
इस रथयात्रा में बीजेपी संगठन के अध्यक्ष एवं महामंत्री, युवा मोर्चा के अध्यक्ष, महिला मोर्चा की अध्यक्ष एवं महामंत्री, ओबीसी मोर्चा के अध्यक्ष सहित विभिन्न मोर्चों के अध्यक्ष तो शामिल हो पाए लेकिन उनकी जंबो टीम के अन्य पदाधिकारी एवं सदस्यगण इस कार्यक्रम से दूर रहे. अब सफाई दी जा रही है कि कार्यकर्ताओं के शादी समारोह में व्यस्तता के चलते वह रथ यात्रा में शामिल नहीं हो सके हैं.
Reporter- Amit Yadav