मुंबई धमाकों का मास्टरमाइंड, 'आतंक का टाइगर' आखिरकार इंटेलीजेंस के रडार पर
Advertisement
trendingNow1748545

मुंबई धमाकों का मास्टरमाइंड, 'आतंक का टाइगर' आखिरकार इंटेलीजेंस के रडार पर

टाइगर ने मुंबई में सीरियल बम धमाकों में अपने छोटे भाई याकूब को फांसी दिए जाने से घंटों पहले मुंबई में अपनी मां को फोन किया था. फोन पर अपनी मां के साथ तीन मिनट की बातचीत में, टाइगर ने याकूब की फांसी का बदला लेने की कसम खाई थी,

टाइगर मेमन (फाइल फोटो)

नई दिल्ली: नैरोबी से संचालित होने वाली केन्याई खाद्य आयात कंपनी, मैग्नम अफ्रीका ने देश के मोस्ट वांटेड भगोड़े टाइगर मेमन (Tiger Memon) को लेकर भारत की खुफिया एजेंसी रॉ की उम्मीदें फिर जगा दी है. टाइगर 1993 के मुंबई सीरियल (सिलसिलेवार) धमाकों का मास्टरमाइंड है. उपमहाद्वीप में सबसे भयावह हमलों में से एक में 257 लोग मारे गए थे.

  1. मादक पदार्थों की तस्करी में शामिल टाइगर मेमन
  2. पुलिस ने फरवरी 2020 में अब्दुल मजीद उर्फ मूसा को पकड़ा था
  3. मुंबई सीरियल धमाकों को अंजाम देने के बाद टाइगर मेमन पाकिस्तान भाग गया 

मादक पदार्थों की तस्करी में शामिल टाइगर 
पिछले पांच वर्षों से मादक पदार्थों की तस्करी में शामिल टाइगर मेमन खुफिया एजेंसियों के रडार से दूर रहा है. पाकिस्तान में मैग्नम अफ्रीका की डील पर नजर रखने से खुलासा हुआ है कि अनाज के व्यापार की आड़ में कंपनी एक अंतर्राष्ट्रीय ड्रग (मादक पदार्थ) तस्करी रैकेट में शामिल है. कागज पर, मैग्नम ने भले ही पाकिस्तान से उच्च गुणवत्ता वाले चावल और अन्य अनाज आयात किए लेकिन इसके असली सौदे मादक पदार्थो से संबंधित थे.

ये भी पढ़ें- DNA ANALYSIS: ड्रग्स पर बॉलीवुड का 'बंटवारा', किसको बचाने की कोशिश की जा रही है?

35 किलोग्राम की हेरोइन की डील
कराची से भारत में तस्करी कर लाई गई 35 किलोग्राम की हेरोइन की डील करते हुए पुलिस ने फरवरी 2020 में अब्दुल मजीद उर्फ मूसा को पकड़ा था. सीरियल धमाकों के एक आरोपी मूसा को टाइगर मेमन का दाहिना हाथ माना जाता है. मूसा को मुंबई हवाई अड्डे पर तब गिरफ्तार किया गया था, जब वह नैरोबी से दुबई जा रहा था. मूसा से पूछताछ में टाइगर मेमन के ठिकाने के बारे में कुछ जानकारी मिली.

दाऊद इब्राहिम से मदद मांगी थी
'आतंक के टाइगर' पर इंटेलिजेंस डोसियर में कहा गया है कि 59 वर्षीय टाइगर मेमन ने मुंबई में सीरियल बम धमाकों को अंजाम देने के लिए अंडरवल्र्ड डॉन दाऊद इब्राहिम से मदद मांगी थी. जहां दाऊद इब्राहिम के कराची के पते के बारे में पता चल गया वहीं टाइगर मेमन के ठौर-ठिकाने के बारे में किसी को भनक तक नहीं थी. सीरियल धमाकों के मुख्य अभियोजक उज्‍जवल निकम कहते हैं, 'हमारे पास कराची में दाऊद इब्राहिम की मौजूदगी को लेकर पर्याप्त सबूत हैं, लेकिन हमें टाइगर मेमन के मामले में बहुत कम जानकारी है, जो मुख्य आरोपी है,' 

ये भी पढ़ें- फिर सामने आया चीन का असली चेहरा, शांति की बातों के बीच दी गीदड़भभकी

याकूब की फांसी का बदला लेने की कसम
पिछली बार जब पुलिस ने टाइगर मेमन का पता लगाया था, वह जुलाई 2015 में था. टाइगर ने मुंबई में सीरियल बम धमाकों में अपने छोटे भाई याकूब को फांसी दिए जाने से घंटों पहले मुंबई में अपनी मां को फोन किया था. फोन पर अपनी मां के साथ तीन मिनट की बातचीत में, टाइगर ने याकूब की फांसी का बदला लेने की कसम खाई थी. उसके बाद से टाइगर के बारे में कुछ पता नहीं चला.

मास्टरमाइंड टाइगर फरार है
मुंबई बम धमाकों सहित कई बड़े आतंकी मामलों में विशेष सरकारी वकील निकम ने कहा, 'हमने टाइगर मेमन का पता लगाने और गिरफ्तार करने के लिए पाकिस्तान को कई इंटरपोल नोटिस भेजे हैं. लेकिन दूसरी तरफ से कोई जवाब नहीं मिला. हमारी फाइलों पर, सीरियल धमाकों का एक मास्टरमाइंड टाइगर फरार है.' उन्होंने कहा, 'हालांकि मुकदमा खत्म हो चुका है, हम अभी भी उसकी गिरफ्तारी का इंतजार कर रहे हैं, जिस पल वह पकड़ा जाएगा, अदालत के समक्ष पहले से पेश किए गए सबूतों के आधार पर एक नई चार्जशीट दायर की जाएगी.'

ये भी पढ़ें- सुशांत की एक बहन और जीजा को पूछताछ के लिए बुला सकता है NCB: सूत्र

टाइगर मेमन पाकिस्तान भाग गया 
सूत्रों ने बताया कि मुंबई सीरियल धमाकों को अंजाम देने के बाद टाइगर मेमन पाकिस्तान भाग गया और कराची के 'गुलशन-ए-इकबाल' इलाके में रहने लगा था. बाद में वह उसी शहर के पॉश डिफेंस हाउसिंग एरिया में शिफ्ट हो गया. भले ही दाऊद और उसका भाई अनीस इब्राहिम भी कराची में रहते हैं, लेकिन सूत्रों ने कहा कि टाइगर मेमन और डी कंपनी के अलग-अलग व्यवसाय हैं. मुख्य रूप से मादक पदार्थों की तस्करी में शामिल टाइगर मेमन ने कराची में कुछ प्रमुख निर्माण परियोजनाएं भी शुरू की हैं. संगठित अपराध अभियानों के अलावा, टाइगर मेमन दुबई में गेस्ट हाउस और होटल भी चलाता है. मुंबई सीरियल धमाकों के संबंध में दायर चार्जशीट में कहा गया है कि टाइगर मेमन ने 15 मार्च, 1993 को बम धमाकों को अंजाम देने में मदद करने के लिए मूसा को शामिल किया था. मूसा ने उसके निर्देश पर उन तीन स्कूटरों को खरीदा था जिनका इस्तेमाल धमाकों में किया गया था.

मुहम्मद के नाम से पाकिस्तानी पासपोर्ट 
सिलसिलेवार धमाकों के बाद, मूसा उत्तर प्रदेश के बरेली भाग गया और फिर वहां से वह बैंकॉक चला गया. बाद में, मेमन ने उसे अनवर मुहम्मद के नाम से पाकिस्तानी पासपोर्ट दिलवाया. सूत्रों ने कहा कि मूसा फिर नैरोबी में शिफ्ट हो गया और वह मैग्नम अफ्रीका चलाने लगा था, जो शुरू में पाकिस्तान से चावल के आयात में शामिल था. (इनपुट आईएएनएस)

VIDEO

Breaking News in Hindi और Latest News in Hindi सबसे पहले मिलेगी आपको सिर्फ Zee News Hindi पर. Hindi News और India News in Hindi के लिए जुड़े रहें हमारे साथ.

TAGS

Trending news