UP MLC Elections: उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी और बीजेपी ने विधान परिषद की 13 सीटों के लिए अपने-अपने प्रत्याशियों का ऐलान कर दिया है. एक तरफ सपा के चारों उम्मीदवारों ने अपना नॉमिनेशन फाइल कर दिया है तो वहीं बीजेपी ने 9 एमएससी कैंडिडेट्स के नामों का ऐलान किया है.
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UP MLC Elections: उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी और बीजेपी ने विधान परिषद की 13 सीटों के लिए अपने-अपने प्रत्याशियों का ऐलान कर दिया है. एक तरफ सपा के चारों उम्मीदवारों ने अपना नॉमिनेशन फाइल कर दिया है तो वहीं बीजेपी ने 9 एमएससी कैंडिडेट्स के नामों का ऐलान किया है. लेकिन इसके साथ उन नेताओं की तमाम कोशिशों पर पानी फिर गया, जो विधान परिषद में जाने के लिए जुगत लगाए हुए थे. इस कवायद में ओम प्रकाश राजभर से लेकर इमरान मसूद को झटका लगा है. वहीं आजम खान के एक करीबी को एमएलसी बनाकर नाराजगी दूर करने की कोशिश की गई है.
सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव की मौजूदगी में चार उम्मीदवारों ने नामांकन पत्र दाखिल किया है. इन उम्मीदवारों में शाहनवाज खान, मुकुल यादव, जासमीर अंसारी और स्वामी प्रसाद मौर्य शामिल हैं. जासमीर अंसारी कांग्रेस और स्वामी प्रसाद मौर्य चुनावों से पहले बीजेपी छोड़ सपा में आए थे.
सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष, श्री अखिलेश यादव जी ने विधान मण्डल, उप्र के उच्च सदन (विधान परिषद) में प्रत्याशी बनाकर, उन दलितों, पिछड़ो, वंचितों व उपेक्षितो एवं गाँव-गरीब, बेरोजगार नौजवानों का सम्मान बढ़ाया हैं, जिनकी मैं सदैव आवाज उठाता रहा हूँ, इसके लिये उन्हें बहुत-बहुत धन्यवाद। pic.twitter.com/1ST3e55ltn
— Swami Prasad Maurya (@SwamiPMaurya) June 8, 2022
उम्मीदवारों को चुनने और विधान परिषद के लिए अखिलेश यादव ने सपा के परंपरागत फॉर्मूले M+Y का ध्यान रखा है. अखिलेश ने एक यादव और दो मुस्लिमों को एमएलसी कैंडिडेट बनाया है. जबकि स्वामी प्रसाद मौर्य के तौर पर गैर-यादव ओबीसी को जगह देकर सामाजिक समीकरण मजबूत करने का दांव चला है.
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जासमीर अंसारी की तरह इमरान मसूद भी कांग्रेस छोड़ सपा में आए थे. लेकिन उनको न तो विधानसभा चुनाव, ना ही राज्यसभा और ना ही विधान परिषद में उम्मीदवार बनाया गया. उन्हें अखिलेश यादव ने झटका देकर शाहनवाज खान शब्बू को एमएलसी प्रत्याशी बनाया है. उनके पिता सरफराज सपा में दर्जा प्राप्त मंत्री रह चुके हैं और इमरान मसूद के साथ उनका 36 का आंकड़ा था. शाहनवाज आजम खान के करीबी भी हैं.
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सपा गठबंधन के तहत विधानसभा चुनाव में उतरने वाले ओम प्रकाश राजभर भी बेटे अरविंद के लिए एमएलसी सीट मांग रहे थे. लेकिन उन्हें भी अखिलेश यादव की तरफ से झटका लगा है. आगे दोनों नेताओं के बीच रिश्ते क्या करवट लेंगे ये तो वक्त ही बताएगा.
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