क्या सचमुच कोरोना वायरस एक तरह का हथियार है?

कोरोना वायरस पूरी दुनिया के लिए चिंता का कारण हुआ है. हर देश इससे बचाव की कोशिशों में लगा हुआ है. लेकिन कुछ विदेशी मीडिया संस्थानों की खबर के मुताबिक कोरोना वायरस को चीन में एक हथियार के तौर पर विकसित किया जा रहा था. लेकिन गलती से ये फैल गया. 

Written by - Anshuman Anand | Last Updated : Jan 29, 2020, 05:28 PM IST
  • क्या हथियार के तौर पर विकसित किया जा रहा था कोरोना वायरस
  • अमेरिकी अखबार ने जताई आशंका
  • इजरायल के वायरस एक्सपर्ट ने किया दावा
  • चीन के वुहान प्रांत में कोरोना को जैविक हथियार के रुप में विकसित किया जा रहा था
क्या सचमुच कोरोना वायरस एक तरह का हथियार है?

नई दिल्ली: कोरोना वायरस को लेकर दुनिया भर में अटकलों का दौर जारी है. कभी कहा गया कि ये जंगली कोबरा से फैला है. तो कभी दावा किया गया कि चमगादड़ का सूप पीने की वजह से इस वायरस ने इंसानी दुनिया में कदम रखा. लेकिन अब इजरायल के पूर्व खुफिया अधिकारी ने अलग तरह का खुलासा किया है. 

हथियार है कोरोना वायरस!
अमेरिकी अखबार वाशिंगटन पोस्ट की एक खबर के मुताबिक कोरोना वायरस एक तरह का हथियार है. जिसे चीन अपने दुश्मनों के खिलाफ इस्तेमाल करने के लिए विकसित कर रहा था. लेकिन गलती से ये वायरस फैल गया. ये दावा इजरायली सेना के पूर्व खुफिया अधिकारी डैनी शोएम ने किया है. 

डैनी शोएम का कहना है कि 'चीन ने जैविक हथियार को लेकर काफी काम किया है. चीन के वुहान शहर में उसके जैविक हथियार तैयार करने के दो गोपनीय प्रोजेक्ट्स चल रहे हैं.  चीन का गोपनीय जैविक हथियार प्रोजेक्ट का केन्द्र वुहान इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी रहा है.  इस संस्थान में घातक विषाणुओं पर रिसर्च होती है.  यहां की दो प्रयोगशालाएं सिर्फ और सिर्फ जैविक हथियारों को विकसित करने का काम करती हैं'.

कौन हैं डैनी शोएम
डैनी शोएम इजरायल की मिलिट्री इंटेलिजेन्स के भूतपूर्व अधिकारी हैं. उन्होंने चीन की जैविक हथियार विकसित करने की योजना का विस्तार से अध्ययन किया है. डैनी शोएम ने खुद भी मेडिकल माइक्रोबायोलोजी में डॉक्टरेट की उपाधि हासिल की है.

 वह इजरायल की खुफिया मिलिट्री सेवा में 1970 से 1991 तक अपनी सेवाएं दे चुके हैं. वह मध्य पूर्व सहित पूरी दुनिया में जैविक और रासायनिक हथियारों के खतरे के एक्सपर्ट माने जाते हैं. अपने सेवा काल में डैनी शोएम की रैंकिंग लेफ्टिनेंट कर्नल की थी. 

उन्होंने खुलासा किया है कि 'चीन की प्रयोगशालाओं में जनसंहार के हथियारों को विकसित करने का काम चल रहा है. ये काम नागरिक और सैन्य रिसर्च के तहत हो रहा है. खास बात ये है कि जिस वुहान शहर में ये रिसर्च चल रही है वहीं से ये वायरस निकला है.'   

खुद चीन के लिए काल बन चुका है कोरोना
इजरायली एक्सपर्ट डैनी शोएम के दावे के मुताबिक कोरोना वायरस चीन के वुहान प्रांत के 'वुहान इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी' के एक हिस्से में विकसित किया गया. लेकिन आज ये खुद चीन के लिए बड़ा खतरा बन चुका है. 
चीन में अब तक 100 से ज्यादा लोगों को कोरोना मौत की नींद सुला चुका है. अकेले चीन के वुहान शहर में 76 लोग कोरोना की भेंट चढ़ चुके हैं.


हालांकि एक दावा ये भी है कि चीन में कोरोना वायरस के शिकारों की संख्या बेहद ज्यादा है. लेकिन इससे संबंधित खबरें दबाई जा रही हैं. 

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