Pachpadra Refinery News: गुजरात पोर्ट से रवाना हुए दो ट्रेलर की स्पीड इन दिनों सुर्खियों में है. ये ट्रेलर पिछले 11 महीने से सफर में हैं लेकिन फिर भी अपनी मंजिल पर पहुंच नहीं सके हैं.
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Big Truck Going Pachpadra Refinery: भारी सामानों को ढोने वाले बड़े ट्रेलरों (Big Trailer) को आपने जरूर देखा होगा. इनका इस्तेमाल लंबी दूरी की यात्रा में भारी-भरकम सामानों को एक जगह से दूसरे जगह ले जाने के लिए किया जाता है. आमतौर सभी ट्रेलरों को सफर करने में कई दिनों का वक्त लगता है. लेकिन इन दिनों एक ट्रेलर अपने कछुए की चाल की वजह से खबरों में है. गुजरात के मुद्रा पोर्ट से रवाना हुए इस गाड़ी को पचपदरा रिफाइनरी (Pachpadra Refinery) तक दो रिएक्टरों को लेकर जाना है लेकिन अपनी यात्रा के 11 महीने बाद भी ये रिएक्टर अपनी मंजिल तक नहीं पहुंच सके हैं. इन ट्रेलरों की चाल बेहद कम है और ये एक दिन में सिर्फ 15-20 किलोमीटर ही चल पाते हैं. कई बार ये एक दिन में बस 5 किलोमीटर की दूरी ही तय करते हैं.
मुंद्रा पोर्ट से पचपदरा रिफाइनरी का सफर
जानकारों का मानना है कि इनको मंजिल तक पहुंचने में 1 महीने का समय और लगेगा. अगर इसकी औसत चाल देखी जाए तो इससे तेज आदमी पैदल चल सकता है लेकिन दिलचस्प बात ये है कि इन पर लोड किए गए रिएक्टर बेहद भारी भरकम है. जिनमें से एक का वजन 1148 मीट्रिक टन है. जबकि इसके साथ ही सफर कर रहे दूसरे ट्रेलर का वजन 760 मीट्रिक टन है. आप सुनकर दंग रह जाएंगे मगर नर्मदा नदी पार कराने के लिए इन ट्रेलरों पर 4 करोड़ रुपये का बजट आया था.
नवंबर 2021 में शुरू हुआ था सफर
आपको जानकर हैरानी होगी कि इन ट्रेलरों के साथ 25 कर्मचारियों की एक टीम हमेशा साथ चलती है. ट्रेलर ऑपरेटर, हेल्पर और टेक्नीशियन जैसे कई लोग इस टीम में शामिल हैं. इसके लिए कई जगहों पर अस्थाई सड़के भी बनाई गईं हैं. बड़े ट्रेलर में कुल 448 टायर हैं जबकि दूसरे ट्रेलर में 384 टायर लगे हुए हैं. इन्हें आगे की ओर खींचने के लिए वोल्वो ट्रकों का सहारा लिया जा रहा है. इन ट्रकों के रास्ते में आने वाली रूकावटों को हेल्पर और टेक्नीशियन की टीम दूर करते चलती है.
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