अफगानिस्‍तान को लेकर नरम हुए पुतिन, आतंकवादी सूची से हटाया तालिबान का नाम
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अफगानिस्‍तान को लेकर नरम हुए पुतिन, आतंकवादी सूची से हटाया तालिबान का नाम

Taliban ban: अफगानिस्‍तान के तालीबानी सांसदों ने राहत की सांस ली है. रूस ने तालिबान को आंतकवादी समूहों की सूची से हटाने का फैसला लिया है.

अफगानिस्‍तान को लेकर नरम हुए पुतिन, आतंकवादी सूची से हटाया तालिबान का नाम

Russia Taliban: रूस की ओर से अफगानिस्‍तान को अच्‍छी खबर मिली है. रूस ने तालिबान को आतंकवादी समूहों की सूची से हटा दिया है. तख्‍तापलट के बाद अफगानिस्‍तान की सरकार में कई तालिबानी सांसद और मंत्री हैं. अफगानिस्तान की कार्यवाहक सरकार के विदेश मंत्रालय ने तालिबान को आतंकवादी समूहों की सूची से हटाने के रूसी स्टेट ड्यूमा (संसद के निचले सदन) के फैसले का स्वागत किया है.

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पहले बिल को दी मंजूरी

रूस की इंटरफैक्स समाचार एजेंसी के हवाले से समाचार एजेंसी सिन्हुआ ने बताया कि रूसी स्टेट ड्यूमा ने मंगलवार को अफगानिस्तान के वर्तमान शासक तालिबान को प्रतिबंधित समूहों की सूची से हटाने के लिए आवश्यक तीन रीडिंग में से पहले बिल को मंजूरी दे दी है.

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द्विपक्षीय संबंध होंगे बेहतर

मंत्रालय के प्रवक्ता अब्दुल कहर बल्खी ने बुधवार शाम को अपने एक्स अकाउंट पर एक पोस्ट के जरिए खुशी जताई. मंत्री ने पोस्‍ट में कहा, "अफगानिस्तान के इस्लामी अमीरात के विदेश मंत्रालय ने रूस में प्रतिबंधित संगठनों की सूची से 'तालिबान आंदोलन' (जिसे पहले अफगानिस्तान के इस्लामी अमीरात के रूप में संदर्भित किया जाता था) को हटाने के उद्देश्य से एक प्रस्ताव को मंजूरी देने के रूसी संघ की संसद के फैसले का स्वागत किया है. यह कदम एक प्रशंसनीय है और इसका उद्देश्य अफगानिस्तान और रूसी संघ के बीच द्विपक्षीय संबंधों को बढ़ाने तथा बाधाओं को दूर करने वाला है. "

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इसी तरह, अफगान कार्यवाहक सरकार के प्रवक्ता जबीहुल्लाह मुजाहिद ने स्थानीय मीडिया को बताया कि यह निर्णय अफगानिस्तान और रूस के बीच द्विपक्षीय संबंधों को और मजबूत करने की दिशा में उठाया गया महत्वपूर्ण कदम है.

रूस के रवैये में लगातर नरमी

अगस्त 2021 में अफगानिस्तान की सत्ता पर तालिबान के काबिज होने के बाद से ही रूस के रवैये में नरमी आई थी.  राष्ट्रपति व्लादीमिर पुतिन ने जुलाई 2024 में कहा था- रूस अफगानिस्तान के तालिबान आंदोलन को आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में सहयोगी मानता है.

बता दें, किसी भी देश ने औपचारिक रूप से तालिबान को अब तक वैध नेतृत्व के तौर पर स्वीकृति नहीं दी है.  वहीं, चीन और यूएई ने इसके राजदूतों को स्वीकार कर लिया है. रूस ने 2003 में तालिबान को आतंकवादी संगठन घोषित किया था. (आईएएनएस)

 

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