कैनबराः फ्रांस और ऑस्ट्रेलिया के अधिकारियों ने परमाणु अनुबंध के साथ मुक्त व्यापार समझौते को नहीं रोकने पर सहमति जताई. उन्होंने सोमवार को कहा कि दोनों देशों के बीच पनडुब्बी अनुबंध रद्द किए जाने के कारण फ्रांस की नाराजगी से वजह से ऑस्ट्रेलिया व यूरोपीय संघ के बीच मुक्त व्यापार समझौता पटरी से नहीं उतरेगा.
फ्रांस के साथ रद्द की डील
ऑस्ट्रेलिया ने 12 पारंपरिक डीजल-इलेक्ट्रिक पनडुब्बियों के निर्माण के लिए 2016 में फ्रांस सरकार के स्वामित्व वाली नौसैन्य कंपनी के साथ 90 अरब ऑस्ट्रेलियाई डॉलर (4799 अरब रुपये) का अनुबंध किया था, लेकिन अब ऑस्ट्रेलिया ने अमेरिका और ब्रिटेन के साथ परमाणु ऊर्जा चालित आठ पनडुब्बियों के लिए नया समझौता किया है. इस समझौते के कारण उसने फ्रांस के साथ अनुबंध रद्द कर दिया है. इसके बाद से फ्रांस नाराज है. उसने इस कदम को पीछ में छुरा घोंपने वाला बताया था.
फ्रांस ने वापस बुलाए राजदूत
फ्रांस के साथ पनडुब्बी सौदे के अचानक रद्द किए जाने के विरोध में फ्रांस ने अमेरिका और ऑस्ट्रेलिया से अपने राजदूतों को पिछले सप्ताह वापस बुला लिया था. ऑस्ट्रेलिया के लिए फ्रांस के राजदूत ज्यां-पियरे थेबो ने उन मीडिया रिपोर्टों का खंडन किया, जिनमें कहा गया है कि फ्रांस यूरोपीय संघ (ईयू) में इस बात की पैरवी कर रहा है कि वह ऑस्ट्रेलिया के साथ व्यापार समझौते पर हस्ताक्षर न करे, जिस पर 2018 से बातचीत चल रही है.
फ्रांसीसी राष्ट्रपति जाएंगे अमेरिका
इस बीच, ऑस्ट्रेलिया के व्यापार मंत्री डान तेहान ने कहा कि वह व्यापार वार्ता करने के लिए कुछ सप्ताह में पेरिस जाएंगे और वह अपने फ्रांसीसी समकक्ष फ्रैंक रीस्टर के साथ ‘संवाद के लिए उत्सुक’ हैं. फ्रांस के राष्ट्रपति एमैनुएल मैक्रों आगामी दिनों में अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन से वार्ता करेंगे. यह इस कूटनीतिक संकट के बाद दोनों नेताओं के बीच पहला संवाद होगा.
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