नई दिल्ली : दिल्ली उच्च न्यायालय ने केंद्र और दिल्ली सरकार से उस याचिका पर जवाब मांगा जिसमें पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और विधि मंत्री सोमनाथ भारती के खिलाफ इस साल जनवरी में उनकी पार्टी द्वारा कथित तौर पर पैदा की गई अराजकता के लिए मुकदमा चलाने का अनुमति देने की मांग की गई है। इन लोगों ने कुछ पुलिस अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग को लेकर प्रदर्शन किया था।
न्यायमूर्ति विभु बाखरू ने सरकारों को नोटिस जारी किया और जवाब मांगा कि क्या केजरीवाल और भारती के खिलाफ आईटी अधिनियम के तहत एसएमएस के जरिए कथित तौर पर अपमानजनक संदेश भेजने और प्रदर्शन के दौरान उनके बयानों के लिए मुकदमा चलाया जा सकता है या दंडित किया जा सकता है।
अदालत ने अब मामले में आगे की सुनवाई के लिए 9 नवंबर की तारीख निर्धारित की है। अदालत शिक्षक अजय गौतम की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई कर रही थी। गौतम ने आरोप लगाया है कि केजरीवाल ने इस साल 21 जनवरी को धरना देकर और सीआरपीसी की धारा 144 का उल्लंघन करके देश के कानून का उल्लंघन किया है।