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दिल्ली: Budget 2021: कृषि कानूनों के विरोध में लगातार तेज होते धरना प्रदर्शन के बीच बजट सत्र शुरू होने जा रहा है. 1 फरवरी को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) बजट पेश करेंगी. खबर है कि इस बजट में किसानों के लिए बड़ा ऐलान किया जा सकता है.
मोदी सरकार Agriculture Loan की लिमिट बढ़ाने की पूरी तैयारी कर रही है. वैसे भी हर बजट में Agriculture Loan का टारगेट बढ़ाया जाता है लेकिन इस बार कृषि कानूनों के विरोध में जो माहौल देश में बना हुआ है, उसे देखते हुए मोदी सरकार बड़ा इजाफा करने जा रही है. खबरों की मानें तो सरकार वित्त वर्ष 2021-22 के लिए Agriculture Loan को 19 लाख करोड़ रुपये तक बढ़ा सकती है. आंकड़ों के लिहाज से बढ़ोतरी करीब 25 फीसदी हो सकती है. अगर ऐसा हुआ तो ये किसानों के हित में बड़ा कदम माना जाएगा.
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वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट 2020-21 की घोषणा करते हुए कहा था कि गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियां (NBFC) और को-ऑपरेटिव्स (Co-operative) कृषि ऋण क्षेत्र में सक्रियता से काम कर रही हैं इसलिए नाबार्ड (NABARD) रिफाइनेंस स्कीम का और विस्तार दिया जाएगा. वित्तीय वर्ष 2020-21 के लिए कृषि ऋण लक्ष्य 15 लाख करोड़ रुपये तय किया गया था.
सामान्य तौर पर कृषि ऋण 9 फीसदी की ब्याज दर पर किसानों को दिया जाता है हालांकि सरकार किफायती दर पर कम समय के लोन के लिए काफी सुविधाएं देती हैं. सरकार 3 लाख रुपये तक के लघु अवधि कृषि ऋण पर 2 फीसदी की सब्सिडी देती है. इससे किसानों को लोन 7 फीसदी सालाना की दर से मिलता है. तय समय पर कर्ज का भुगतान करने वाले किसानों को 3 फीसदी का फायदा होता है क्योंकि सरकार उन्हें अतिरिक्त प्रोत्साहन देती है. कुल मिलाकर किसानों को ये लोन 4 फीसदी की सालाना ब्याज दर पर ही मिल जाता है.
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