कंस्ट्रक्शन करने वाली कंपनी टाटा प्रोजेक्ट्स लिमिटेड (Tata Projects Ltd) और इस काम से जुड़े दूसरे ठेकेदार मिलकर तेजी से काम कर रहे हैं. इनका मकसद कंस्ट्रक्शन में तेजी लाना और एयरपोर्ट को चालू करने की तैयारियों को तेजी से पूरा करना है.
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Noida International Airport: दिल्ली के आईजीआई एयरपोर्ट के नजदीक जेवर एयरपोर्ट पर तेजी से काम चल रहा है. पहले नोएडा एयरपोर्ट का उद्घाटन साल के अंत यानी अक्टूबर 2024 तक होने की उम्मीद थी. लेकिन अब इसमें देरी होने की खबर है. अब उम्मीद यह की जा रही है कि नया एयरपोर्ट अगले साल यानी अप्रैल 2025 तक चालू हो जाएगा. पिछले दिनों खबर आई थी कि दिल्ली से करीब 75 किमी दूर बन रहे नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट के निर्माण में देरी हो रही है.
अप्रैल 2025 के अंत तक फ्लाइट शुरू होने की उम्मीद
एयरपोर्ट की तरफ से एक बयान में कहा गया कि निर्माण की मौजूदा स्थिति को देखते हुए हम उम्मीद करते हैं कि अप्रैल 2025 के अंत तक कमर्शियल उड़ानें शुरू हो जाएंगी. कंस्ट्रक्शन करने वाली कंपनी टाटा प्रोजेक्ट्स लिमिटेड (Tata Projects Ltd) और इस काम से जुड़े दूसरे ठेकेदार मिलकर तेजी से काम कर रहे हैं. इनका मकसद कंस्ट्रक्शन में तेजी लाना और एयरपोर्ट को चालू करने की तैयारियों को तेजी से पूरा करना है.
जरूरी चीजों को पूरा करने में लगा स्टॉफ
एयरपोर्ट की तरफ से दिये गए बयान में कहा गया कि हम दिल्ली NCR और उत्तर प्रदेश के लिए शानदार और पर्यावरण के अनुकूल इंटरनेशन एयरपोर्ट बनाने के लिए पूरी तरह से वचनबद्ध हैं. उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि निर्माण कार्य काफी आगे बढ़ चुका है और हम एयरपोर्ट को चालू करने की तैयारी के लिए जरूरी चीजों को पूरा करने में लगे हुए हैं.
टर्मिनल और कंट्रोल टॉवर पर काफी काम हो गया
एयरपोर्ट मैनेजमेंट की तरफ से इस बात को स्वीकार किया गया कि यह एक 'बड़ा और जटिल' प्रोजेक्ट है. निर्माण के अगले कुछ हफ्ते बहुत ही अहम हैं. 'रनवे, यात्री टर्मिनल और कंट्रोल टॉवर पर काम काफी आगे बढ़ चुका है. हाल ही में ग्राउंड हैंडलिंग, कमर्शियल एरिया के संचालन और मेंटीनेंस कॉन्ट्रैक्ट के लिए ठेका जारी किया गया है.'
एयरपोर्ट के संचालन के लिए नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट से फ्लाइट के लिए कई एयरलाइंस से करार किया गया है. उत्तर प्रदेश सरकार की हिस्सेदारी वाला यह प्रोजेक्ट बनकर तैयार होने के बाद देश का सबसे बड़ा एयरपोर्ट बनने जा रहा है. एयरपोर्ट को चार चरणों में 5,000 हेक्टेयर से भी ज्यादा जमीन पर तैयार किया जाएगा. परियोजना अधिकारियों के अनुसार, पहले चरण में एयरपोर्ट पर एक रनवे और एक टर्मिनल बिल्डिंग होगी. यह हर साल 1.2 करोड़ यात्रियों को संभालने की क्षमता रखेगा. करार के अनुसार एयरपोर्ट से सबसे पहली उड़ान इंडिगो की टेक ऑफ करेगी.