Monkeypox: मंकीपॉक्स से पीड़ित मरीजों के शरीर में बड़े-बड़े फफोले पड़ जाते हैं. हाल ही के एक रिसर्च में ये बात सामने आई है कि इन बच्चों को मंकीपॉक्स का खतरा अधिक होता है.
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Monkeypox: कोविड-19 के बाद मंकीपॉक्स ने अपने प्रकोप से दुनियाभर में लोगों को डरा कर रखा है. इससे पीड़ित मरीजों के शरीर में बड़े-बड़े फफोले पड़ जाते हैं. हाल ही के एक रिसर्च में ये बात सामने आई है कि मंकीपॉक्स वायरस 8 साल के कम उम्र के बच्चों के लिए ज्यादा खतरनाक है. अधिक आय वाले देशों में भी मंकीपॉक्स से संक्रमित बच्चे ही हुई हैं और उनकी मौत भी. द पीडियाट्रिक इनफेक्शियस डिजीज जर्नल में प्रकाशित रिसर्च के अनुसार, अभी तक कुछ बच्चे ही मंकीपॉक्स से प्रभावित हुए हैं, लेकिन 8 वर्ष या उससे कम आयु के बच्चों में इसका खतरा अधिक है.
स्विट्जरलैंड के फ्राइबोर्ग यूनिवर्सिटी की डॉ. पेट्रा जिमर्मन और मेलबर्न यूनिवर्सिटी के निगेल कर्टिस ने कहा कि बच्चों में अस्पताल में भर्ती होने की दर और उच्च आय वाले देशों में भी मृत्यु दर में बढ़ोतरी की सूचना है. अगस्त 2022 तक दुनियाभर में मंकीपॉक्स के करीब 47 हजार मामले सामने आ चुके हैं. इनमें से केवल 211 मामले ही 18 साल से कम उम्र के बच्चों में हैं. फिलहाल, मंकीपॉक्स वायरस यौन या अन्य निकट संपर्क से फैलता प्रतीत हो रहा है. इसके ज्यादातर मरीज सहायक देखभाल से ठीक हो जाते हैं. हालांकि, गंभीर और हाई रिस्क वाले मामलों के लिए अधिक विशिष्ट उपचार की आवश्यकता पड़ती है.
मंकीपॉक्स के शुरुआती लक्षण
मंकीपॉक्स का इलाज
वर्तमान में, मंकीपॉक्स का कोई इलाज नहीं है. इसके लक्षण 2-4 हफ्ते तक रहते हैं. मंकीपॉक्स से संक्रमित मरीजों को इलाज की जरूरत नहीं होती है, बल्कि कुछ सावधानियों को फॉलो करके इसे ठीक किया जाता है.
मंकीपॉक्स से बचाव
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