सीपीडब्ल्यूडी ऊर्जा संरक्षण, पर्यावरण हितैषी और कम समय में पूरी होने वाली, मंत्रालय द्वारा मान्यता प्राप्त, 16 तकनीकों का फिलहाल इस्तेमाल कर रहा है.
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नई दिल्ली: आवास एवं शहरी मामलों का मंत्रालय, भवन निर्माण के क्षेत्र में नवोन्मेषी तकनीक के प्रयोग को बढ़ावा देने के लिये विशेषज्ञों से मशविरा कर श्रेष्ठ अनूठी तकनीकें अपनाएगा. मंत्रालय की भवन निर्माण एजेंसी, केन्द्रीय लोक निर्माण विभाग (सीपीडब्ल्यूडी) ने इस बाबत शुक्रवार को दिल्ली में तकनीक विशेषज्ञों का राष्ट्रीय सम्मेलन आयोजित किया है. सीपीडब्ल्यूडी के महानिदेशक प्रभाकर सिंह ने बताया कि भवन निर्माण क्षेत्र में कार्यरत निजी और सार्वजनिक क्षेत्र के लगभग 250 विशेषज्ञ सम्मेलन में भवन निर्माण संबंधी पर्यावरण हितैषी सामग्री के इस्तेमाल और कम समय में अधिक काम को अंजाम देने वाली नवोन्मेषी तकनीक सुझायेंगे.
सिंह ने बताया एक दिवसीय सम्मेलन का उद्घाटन आवास एवं शहरी विकास सचिव दुर्गाशंकर मिश्र करेंगे. सिंह ने बताया कि सीपीडब्ल्यूडी ऊर्जा संरक्षण, पर्यावरण हितैषी और कम समय में पूरी होने वाली, मंत्रालय द्वारा मान्यता प्राप्त, 16 तकनीकों का फिलहाल इस्तेमाल कर रहा है.
देश के विभिन्न इलाकों में विभिन्न स्थानीय परिस्थितियों के मुताबिक 31 नवोन्मेषी तकनीकों को इस फेहरिस्त में शामिल करने पर सम्मेलन में विचार किया जायेगा. सिंह ने बताया कि विभाग का मकसद पर्यावरण को नुकसान न पहुंचाने वाली भवन निर्माण सामग्री का इस्तेमाल सुनिश्चित करने वाली तकनीक को बढ़ावा देना है. सम्मेलन में स्वीकृत श्रेष्ठ तकनीकों को निजी क्षेत्र में भी बढ़ावा देने पर जोर दिया जायेगा.