Jaipur: प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि आज के समय में भी छुआछूत और दबंगों द्वारा बिंदोरी के दौरान दूल्हे को घोड़ी से उतारने जैसी घटनाएं मानवता पर कलंक हैं. इन घटनाओं को रोकने के लिए पुलिस विशेष प्रयास करे.
सीएम गहलोत मुख्यमंत्री निवास से वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से पुलिस महानिरीक्षक एवं जिला पुलिस अधीक्षकों की बैठक को संबोधित कर रहे थे. CM गहलोत ने कहा कि गंभीर घटनाओं में नियमानुसार पीड़ित को प्रतिकर स्कीम में तत्काल सहायता उपलब्ध करवाएं. उन्होंने ठगी, ड्रग्स एवं नशीली दवाइयों के अवैध कारोबार तथा विभिन्न गिरोहों के द्वारा संगठित अपराधों के मामलों में भी प्रभावी कार्रवाई करने के निर्देश दिए. मुख्यमंत्री ने प्रतापगढ़ जिले में प्रो-एक्टिव पुलिसिंग के माध्यम से वाहन चोरी की घटनाओं में लिप्त अभियुक्तों के मोबाइल में मिले दुष्कर्म के वीडियो के आधार पर आगे की कार्यवाही करते हुए गिरोह को पकड़ने की सराहना की और कहा कि ऐसे प्रयास सभी जिलों में किए जाएं.
गृह राज्यमंत्री राजेन्द्र सिंह यादव ने कहा कि जिन क्षेत्रों में डकैती एवं लूटपाट की घटनाएं अधिक होती हैं, उन्हें चिन्हित कर अपराधियों पर लगाम लगाने के लिए पुलिस मुख्यालय स्तर पर प्रभावी योजना तैयार की जाए. उन्होंने कहा कि विभिन्न देशों में साइबर और अन्य अपराधों की रोकथाम के लिए प्रयोग ली जा रही तकनीकों एवं नवाचारों का अध्ययन कर उनमें से बेस्ट प्रैक्टिसेज को अपनाना चाहिए. मुख्य सचिव निरंजन आर्य ने कहा कि पुलिस के आधुनिकीकरण तथा उन्हें बेहतर संसाधन मुहैया कराने के लिए राज्य सरकार ने समय-समय पर कई निर्णय किए हैं.
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि जिला पुलिस अधीक्षक प्रत्येक पीड़ित को न्याय दिलाने की सोच के साथ निचले स्तर तक कानून व्यवस्था की स्थिति को सुदृढ़ बनाने में अपनी सकारात्मक भूमिका का निर्वहन करें. उन्होंने कहा कि जिलों में थाने एवं चौकी स्तर तक प्रभावी मॉनिटरिंग सुनिश्चित की जाए और प्रो-एक्टिव पुलिसिंग से प्रदेश को अपराध नियंत्रण में अग्रणी बनाया जाए.