Jaipur News: राजस्थान में भारी वाहन, यात्री वाहन और कमर्शियल व्हीकल की फिटनेस अभी फिटनेस केंद्रों से कराए जाने का प्रावधान है. राजस्थान में निजी क्षेत्र में ऐसे 83 निजी वाहन फिटनेस जांच केन्द्र खुले हुए हैं. हां यह अलग बात है कि फिटनेस केन्द्र गड़बड़ियों को लेकर अक्सर विवादों में रहे हैं. राज्य में पिछले 8 माह के दौरान ही करीब आधे फिटनेस केंद्रों पर निलंबन या सिक्योरिटी राशि जब्त करने की कार्रवाई हो चुकी है.
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Jaipur News: राज्य में फिटनेस केंद्रों का संचालन 30 सितंबर के बाद भी होते रहने की उम्मीद है. केन्द्र सरकार फिटनेस केंद्रों के संचालन की अवधि को बढ़ा सकती है. दरअसल राज्य में अभी केवल 2 ही ऑटोमेटिक टेस्टिंग स्टेशन्स खुल सके हैं. ऐसे में ऑटोमेटिक टेस्टिंग स्टेशन्स से ही वाहनों की फिटनेस की अनिवार्यता अभी लागू होने की संभावना नहीं है.
राज्य में भारी वाहन, यात्री वाहन और कमर्शियल व्हीकल की फिटनेस अभी फिटनेस केंद्रों से कराए जाने का प्रावधान है. राजस्थान में निजी क्षेत्र में ऐसे 83 निजी वाहन फिटनेस जांच केन्द्र खुले हुए हैं. हां यह अलग बात है कि फिटनेस केन्द्र गड़बड़ियों को लेकर अक्सर विवादों में रहे हैं. राज्य में पिछले 8 माह के दौरान ही करीब आधे फिटनेस केंद्रों पर निलंबन या सिक्योरिटी राशि जब्त करने की कार्रवाई हो चुकी है.
यूं तो केन्द्र सरकार ने इन फिटनेस केंद्रों के संचालन की अंतिम तिथि 30 सितंबर तय की हुई है, लेकिन अभी इनकी अवधि और बढ़ने की संभावना है. दरअसल 1 अक्टूबर से देशभर में ऑटोमेटिक टेस्टिंग स्टेशन्स से ही फिटनेस कराने की अनिवार्यता लागू होने वाली है. लेकिन विभागीय सूत्रों का कहना है कि राजस्थान में महज 2 ऑटोमेटिक टेस्टिंग स्टेशन ही शुरू हाे सके हैं. इसके अलावा देशभर में संचालित ऑटोमेटिक टेस्टिंग स्टेशन्स की संख्या भी अपेक्षाकृत रूप से काफी कम है. ऐसे में फिलहाल ऑटोमेटिक टेस्टिंग स्टेशन्स की पॉलिसी पूरी तरह से लागू हो पाना मुश्किल है.
फिटनेस केंद्रों की स्थिति क्या ?
- राज्य में कुल खुले हुए फिटनेस केन्द्र 83
- 5 फिटनेस केंद्रों की संचालन अवधि जुलाई से सितंबर के बीच समाप्त हुई.
- राज्य में कुल निलंबित फिटनेस केन्द्र 8
- इस तरह वर्तमान में करीब 70 फिटनेस केन्द्र हो रहे संचालित
- 4 फिटनेस केन्द्र के प्राधिकार पत्र अक्टूबर माह में हो जाएंगे समाप्त
एटीएस क्यों ?
- फिटनेस केंद्रों पर बगैर वाहन जांच फिटनेस प्रमाण पत्र बनाने की शिकायतें
- राज्य सरकार की फिजा-2018 पॉलिसी के तहत संचालित हैं फिटनेस केन्द्र
- फिटनेस केन्द्र पर होती है वाहन जांच की कॉम्बो लेन
- एक ही लेन पर होती है हल्के और भारी सभी तरह के वाहनों की जांच
- एटीएस पर लाइट और हैवी व्हीकल की जांच के लिए अलग-अलग लेन
- एटीएस पर ऑटोमेटिक मशीनों से वाहन जांच का आता है परिणाम
10 महीने से किसी भी नए ऑटोमेटिक स्टेशन को मान्यता नहीं दी गई
बड़ी बात यह है कि परिवहन विभाग में फिलहाल नए ऑटोमेटिक टेस्टिंग स्टेशन्स को प्राधिकार पत्र देने का कार्य भी रोका हुआ है. डिप्टी सीएम डॉक्टर प्रेमचंद बैरवा के निर्देश पर नए ऑटोमेटिक टेस्टिंग स्टेशन्स को अनुमति नहीं दी जा रही है. अभी एक ऑटोमेटिक टेस्टिंग स्टेशन जयपुर में रिंग रोड पर स्थित है, जबकि दूसरा स्टेशन अजमेर के किशनगढ़ में हाईवे पर बना हुआ है. रोचक यह है कि इन दोनों एटीएस को मान्यता पिछले साल नवंबर में जारी कर दी गई थी. इसके बाद पिछले 10 महीने से किसी भी नए ऑटोमेटिक स्टेशन को मान्यता नहीं दी गई है.
नए एटीएस पर परेशानी क्या ?
- राजस्थान में अभी केवल 2 ऑटोमेटिक टेस्टिंग स्टेशन खुले हुए
- जयपुर और किशनगढ़, अजमेर में केवल 2 एटीएस खुले हुए
- परिवहन विभाग ने 4 कम्पनियों को एटीएस के लिए पीआरसी दी हुई
- इसके अलावा 25 से अधिक आवेदन अभी पीआरसी के लिए लंबित चल रहे
- इन सभी आवेदनों को क्लीयर करने में लगेंगे कम से कम 6 माह
- केन्द्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय करेगा 1 अक्टूबर से अनिवार्यता
- हालांकि MORTH का मत है कि देशभर में कम से कम 700 एटीएस खुलें
- तभी ऑटोमेटिक टेस्टिंग स्टेशन से वाहन फिटनेस की अनिवार्यता लागू हो सकेगी
- जबकि देशभर में अभी महज 70 के आस-पास ही एटीएस खुल सके
- ऐसे में MORTH के फैसले को 1 अक्टूबर से लागू कर पाना संभव नहीं.
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