ब्लैक होल के पास आते ही सूर्य से कई गुना बड़े तारे की धज्जियां उड़ गईं, सब सफाचट कर रहा ब्रह्मांड का दैत्य
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ब्लैक होल के पास आते ही सूर्य से कई गुना बड़े तारे की धज्जियां उड़ गईं, सब सफाचट कर रहा ब्रह्मांड का दैत्य

Supermassive Black Hole Eats A Star: ब्रह्मांड में एक ऐसे महाभयानक ब्लैक होल की खोज हुई है जिसके पास जाते ही सूर्य से लगभग नौ गुना बड़े तारे की धज्जियां उड़ गईं.

ब्लैक होल के पास आते ही सूर्य से कई गुना बड़े तारे की धज्जियां उड़ गईं, सब सफाचट कर रहा ब्रह्मांड का दैत्य

Black Hole Devours A Star: वैज्ञानिकों ने एक 'अतिविशाल ब्लैक होल' का पता लगाया है जिसका द्रव्यमान सूर्य से लगभग 1 करोड़ गुना अधिक है. पृथ्वी से करीब 9 बिलियन प्रकाश वर्ष दूर मौजूद यह ब्लैक होल एक तारे के परखच्चे उड़ाते देखा गया. तारे को सफाचट करने के बाद यह ब्लैक होल उसके बचे-खुचे अवशेषों को निगलने में लगा है. इस तारे का द्रव्यमान सूर्य से लगभग नौ गुना अधिक था. यह अब तक देखा गया सबसे बड़ा तारा है जो इन भयानक 'ज्वारीय विघटन घटनाओं' या 'TDEs' में नष्ट हुआ है.

'अपनी तरह की सबसे चमकीली घटना'

वैज्ञानिकों ने अभी तक जितने भी तारों को निगले जाते देखा है, यह तारा उनसे कम से कम पांच गुना ज्यादा द्रव्यमान वाला था. उन्होंने इस घटना (TDE) को AT2023vto नाम दिया है. मतलब यह कि AT2023vto सबसे बड़ा और सबसे चमकीला TDE है जिसे एस्ट्रोनॉमर्स ने अब तक खोजा है. यूनिवर्सिटी ऑफ ओरेगन के यवेटे सेंडेस ने स्पेसडॉटकॉम से बातचीत में कहा कि 'यह 9 बिलियन प्रकाश वर्ष दूर है लेकिन इतना चमकीला है कि आप इसे देख सकते हैं. आमतौर पर हमें TDEs कहीं ज्यादा पास दिखाई देते हैं.'

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इस इलस्ट्रेशन में TDE के दौरान, एक ब्लैक होल द्वारा एक तारे को टुकड़े-टुकड़े करके निगल जाने के बाद की स्थिति को दर्शाया गया है. (Photo : NASA’s Goddard Space Flight Center/Chris Smith (USRA/GESTAR))

वैज्ञानिकों के मुताबिक, इस घटना को जो चीज पिछली सभी ऐसी घटनाओं से अलग करती है, वह यह कि इससे लगभग प्रकाश की गति से जेट्स निकल रहे हैं. इसी वजह से यह इतना चमकीला है. वैज्ञानिक इस घटना का अध्ययन कर यह समझना चाहते हैं कि जब द्रव्यमान ब्लैक होल में धकेला जाता है, तो क्या होता है.

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ब्रह्मांड में कब होती है ऐसी कोई घटना?

TDEs तब होते हैं जब कोई अभागा सितारा किसी विशालकाय ब्लैक होल के बेहद नजदीक पहुंच जाता है. ब्लैक होल का असीम गुरुत्वाकर्षण तारे के भीतर शक्तिशाली ज्वारीय बल पैदा करता है जो इसे क्षैतिज रूप से दबाता है और साथ ही इसे ऊर्ध्वाधर रूप से खींचता है. इससे तारा एक लंबे धागे में बदल जाता है, इस खूनी प्रक्रिया को 'स्पेगेटीफिकेशन' कहते हैं.

वास्तव में, कोई TDE घटना कुछ घंटों के भीतर निपट जाती है. ब्लैक होल नष्ट हुए तारे का एक छोटा सा हिस्सा ही निगलता है. सेंडेस के मुताबिक, 'जब TDE होता है, तो तारे का बहुत कम द्रव्यमान वास्तव में ब्लैक होल में गिरता है' लगभग आधा द्रव्यमान एक लंबे बाहरी प्रक्षेप पथ पर चला जाता है, कभी वापस नहीं आता. बाकी द्रव्यमान का लगभग आधा हिस्सा ब्लैक होल के चारों ओर एक एक्रेशन डिस्क बनाता है.'

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'डकार' भी ले सकता है यह ब्लैक होल!

AT2023vto को पहली बार 9 सितंबर को देखा गया था. तब इसे वैज्ञानिकों ने गलती से सुपरनोवा विस्फोट समझ लिया था. बाद में, जब रिसर्चर्स ने डेटा पर नजर डालने के बाद मॉडल तैयार किया तब उन्हें हकीकत समझ आई. वैज्ञानिकों ने अभी तक इस सुपरमैसिव ब्लैक होल के किसी समय पर ताकतवर जेट की 'डकार' लेने की संभावना से इनकार नहीं किया है.

टीम की रिसर्च का एक समीक्षा-पूर्व संस्करण पेपर रिपॉजिटरी arXiv पर छपा है.

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