क्या होता यदि सोनिया गांधी को आइटम कह दिया होता किसी ने?

इस देश की जनता के मन में यह प्रश्न आ सकता है कि कांग्रेस के जिस लीडर ने आइटम कह कर सम्पूर्ण भारतीय नारियों का अपमान किया है यदि उसी ने या किसी और ने सोनिया गांधी को ही आइटम कह दिया होता तो राहुल, प्रियंका और खुद सोनिया गांधी की प्रतिक्रिया क्या होती?

Written by - Parijat Tripathi | Last Updated : Oct 21, 2020, 08:35 AM IST
    • भाषागत दूषण क्या कांग्रेस की संस्कृति है
    • खेद और माफ़ी का अंतर कमलनाथ नहीं जानते
    • छिछोरी भाषा का शद्ब है आइटम
    • कांग्रेसी डिक्शनरी के नये शब्द - टंच माल, आइटम
क्या होता यदि सोनिया गांधी को आइटम कह दिया होता किसी ने?

नई दिल्ली.    अत्यंत दुःख का विषय है कि राजनीती में गंदगी लाने की हर परम्परा की शुरुआत कांग्रेस में ही होती है चाहे वह व्यवहारिक गंदगी हो, सैद्धांतिक दूषण हो या भाषागत प्रदूषण. प्रत्येक दूषण की जननी कांग्रेस ही क्यों बनती है? यह एक यथार्थवादी प्रश्न है, किसी तरह का आरोप नहीं. आरोप में संशय होता है, सवाल नहीं. कांग्रेस में आचरणगत पतन उसे तथाकथित ऐतिहासिक पार्टी बना देता है और फिर एक अन्य प्रश्न सामने आता है कि क्या कांग्रेस कौरवों का वह दल है जो अपना विनाश करने के लिए स्वयं ही तत्पर है? अब इस दल के नेता का एक नया शब्द-प्रदूषण देश भर में आलोचना का कारण बना है -आइटम ! 

क्या ये कांग्रेस-संस्कृति है ?

इस विषयवस्तु से जुड़ी 19 अक्टूबर की घटना सर्वविदित है. कांग्रेस के नेता कमलनाथ ने एमपी के उपचुनाव के दौरान बीजेपी नेता इमरती देवी को 'आइटम' कहा है. इनके दूसरे कांग्रेसी गुरु-भाई दिग्विजय सिंह ने तो अपनी ही पार्टी की नेता को 'टंच माल' कह दिया था. क्या यही कांग्रेस की संस्कृति है ? कांग्रेस के नेतृत्वकर्ता राहुल गांधी ने तो इस संस्कृति का परिचय और भी विविधता के साथ दिया था और उसके बाद से राहुल गांधी को देश की संसद में बैठ कर आंख मारने जैसी निकृष्ठ हरकत करने के लिये जाना जाने लगा है.  ऐसे में दिग्गी राजा और  कमलनाथ पर किस अनुशासनात्मक कार्यवाही की अपेक्षा की जा सकती है !

खेद और माफ़ी का अंतर ?

एक शेर है - डूब मरने को शर्म काफी है..शर्म इनको मगर नहीं आती ! विश्लेषण की दृष्टि से देखें तो कमलनाथ को शर्म नहीं आई - न इमरती देवी को आइटम कहते समय, न ही उस समय जब इनसे कहा गया कि आपको माफ़ी मांगनी चाहिए. कमलनाथ ने माफ़ी नहीं मांगी और कहा कि मैंने खेद व्यक्त कर दिया है. यदि आइटम का अर्थ कांग्रेसजन नहीं जानते तो कदाचित खेद और माफ़ी का अंतर कैसे जान सकते हैं. और निर्लज्ज भाव से अपनी बात पर अड़ कर खेद जता देने में किसी तरह के खेद का भाव होता भी नहीं है. 

छिछोरी भाषा का शब्द है आइटम  

इंग्लिश में जिसे स्लैंग कहते हैं उसे हिंदी भाषा में सड़कछाप बोली या अभद्र भाषा कहा जाता है. संस्कारगत भारतीय परिवारों के ड्राइंग रूम्स में यह सड़कछाप बोली या अभद्र भाषा का प्रयोग नहीं होता है. जनभाषा में स्लैंग को छिछोरी भाषा भी कहा जा सकता है. आइटम का अर्थ वही है जो छिछोरी भाषा में माल या टंच माल के रूप में इस्तेमाल किया जाता है.

ये भी पढ़ें.  फिर मां बनने वाली हैं करीनातैमूर के भाई के बस ये तीन नाम न रखना

कांग्रेसी डिक्शनरी के नये शब्द- आइटम, टंच माल

ये तो सिर्फ भाषा के स्तर पर किया जा रहा नैतिक अपराध है, गंभीर स्थिति ये है कि इस देश में न तो एसिड अटैक विक्टिम्स के विरुद्ध, न ही बालिकाओं के बलात्कारियों के खिलाफ और न ही संसद में गुंडई करने वालों पर कोई सख्त क़ानून लागू होता है, और आने वाले दिनों में ऐसी कोई उम्मीद भी नजर नहीं आती है. जब क़ानून बनाने वाले सभी धृतराष्ट्र हों तो इस दुर्भाग्य पर और क्या कहा जाए. 

ये भी पढ़ें. डिस्काउंट इतना जरूरी था कि महिला जज ने अंडरगारमेंट्स में खिंचवाई फोटो

देश और दुनिया की हर एक खबर अलग नजरिए के साथ और लाइव टीवी होगा आपकी मुट्ठी में. डाउनलोड करिए ज़ी हिंदुस्तान ऐपजो आपको हर हलचल से खबरदार रखेगा... नीचे के लिंक्स पर क्लिक करके डाउनलोड करें-

Android Link - https://play.google.com/store/apps/details?id=com.zeenews.hindustan&hl=en_IN

ट्रेंडिंग न्यूज़