जयपुर: आईपीएल की शुरुआत 2008 में हुई थी और पहले ही सीजन में खिताब पर कब्जा करके राजस्थान रॉयल्स ने सबको चौंका दिया था. 14वें संस्करण में राजस्थान रॉयल्स इस बार नये जोश के साथ मैदान पर उतर रही है.
पहले आईपीएल में केवल राजस्थान ने ही किसी विदेशी खिलाड़ी को कप्तानी सौंपी थी और उसका ये दांव सटीक साबित हुआ. शेन वार्न ने अपनी जुझारू कप्तानी के दम पर राजस्थान रॉयल्स को आईपीएल का चैंपियन बनाया. हालांकि पिछले 12 आईपीएल से पिंक आर्मी एक भी खिताब जीतना तो दूर कभी फाइनल तक में नहीं पहुंची है.
संजू सैमसन के युवा कंधों पर बड़ी जिम्मेदारी
IPL के 14वें सीजन के लिये राजस्थान रॉयल्स ने कई खिलाड़ियों को रिलीज कर दिया था. इनमें कप्तान स्टीव स्मिथ भी शामिल थे. उनकी जगह पर टीम मैनैजमेंट ने 26 वर्षीय संजू सैमसन को कप्तान बनाया है. संजू सैमसन के नेतृत्व में टीम ने कई युवा खिलाड़ियों पर दांव लगाया है.
संजू सैमसन पहली बार आईपीएल में कप्तानी कर रहे हैं. उनसे टीम को दूसरी बार फाइनल जिताने की उम्मीद है. संजू सैमसन पर टॉप ऑर्डर में रन बनाने और बड़े टारगेट चेज करने की अहम जिम्मेदारी भी होगी.
टीम में मैच विनर खिलाड़ियों की भरमार
राजस्थान में कई मैच विनर खिलाड़ी है. ये उसकी बड़ी मजबूती है. बेन स्टोक्स, संजू सैमसन, राहुल तेवतिया, क्रिस मैरिस, जोश बटलर और डेविड मिलर कई बार टीम को अपने दम पर मैच जिता चुके हैं. इस बार टीम ने क्रिस मॉरिस को 16 करोड़ से भी अधिक की कीमत में खरीदा है. उनसे भी टीम को मैच जिताऊ प्रदर्शन की उम्मीद होगी.
गेंदबाजी कमजोर पक्ष
राजस्थान रॉयल्स के पास बल्लेबाजी में तो कई बड़े नाम हैं लेकिन गेंदबाजी में उसे कई चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है. टीम के सबसे भरोसेमंद गेंदबाज जोफ्रा आर्चर शुरुआती मुकाबलों में टीम का हिस्सा नहीं बन सकेंगे. उनकी अनुपस्थिति में कोई भी ऐसा गेंदबाजी नहीं है जो डेथ ओवर्स में विरोधी बल्लेबाजों को रोक सके. पिछले आईपीएल में कई ऐसे मैच हुए जब जयदेव उनादकट और कार्तिक त्यागी विरोधी बल्लेबाजों के सामने नाकाम हो गये.
स्पिन विभाग में टीम के पास केसी करियप्पा, श्रेयस गोपाल, रियान पराग, राहुल तेवतिया, मयंक मार्कंडेय और महिपाल लोमरोर के रूप में कई विकल्प हैं. हालांकि इनमें कोई विश्वस्तरीय और अनुभवी स्पिनर नहीं है.
तेज गेंदबाजी में राजस्थान ने इस बार बांग्लादेश के तेज गेंदबाज मुस्ताफिजुर रहमान को 1 करोड़ में खरीदा है. वे पहले मुंबई के लिये आईपीएल खेलते थे. जयदेव उनादकट कई बार आईपीएल में महंगे बिके लेकिन वे कुछ खास कमाल नहीं कर सके. इस बार टीम ने उन्हें रिटेन किया था.
बल्ले और गेंद से कमाल करने वाले खिलाड़ियों की भरमार
राजस्थान रॉयल्स के मैनेजमेंट ने इस बार ऑलराउंडर खिलाड़ियों को वरीयता दी है. टीम के पास इस सीजन में बल्ले और गेंद से कमाल करने वाले कई खिलाड़ियों की भरमार है. बेन स्टोक्स, क्रिस मॉरिस, राहुल तेवतिया, रियान पराग, महिपाल लोमरोर, श्रेयस गोपाल और शिवम दुबे ऐसे खिलाड़ी हैं जो बल्ले और गेंद से टीम को मैच जिता सकते हैं. गौरतलब है कि आईपीएल पूरी तरह ऑलराउडर्स का गेम बन गया है. ऐसे में राजस्थान को अपने ऑलराउंडर खिलाड़ियों का बड़ा लाभ मिलेगा.
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राजस्थान रॉयल्स की पूरी टीम-
संजू सैमसन (कप्तान), बेन सटोक्स, जोफ्रा आर्चर, जोस बटलर (विकेटकीपर), रियान पराग, श्रेयस गोपाल, राहुल तेवतिया, महिपाल लोमरोर, कार्तिक त्यागी, एंड्रयू टाय, जयदेव उनादकट, मयंक मार्कंडे, यशस्वी जायसवाल, अनुज रावत, डेविड मिलर, मनन वोहरा, क्रिस मौरिस (16.25 करोड़), शिवम दुबे (4.4 करोड़), चेतन सकारिया (1.2 करोड़), मुस्तफिजुर रहमान (1 करोड़), लियाम लिविंगस्टोन (75 लाख), आकाश सिंह (20 लाख), केसी करियप्पा (20 लाख) और कुलदीप यादव (20 लाख).
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