राजनीतिक दलों को RTI के दायरे में होना चाहिए: थरूर

केंद्रीय मंत्री शशि थरूर ने शनिवार को कहा कि शासन में पारदर्शिता सुनिश्चित करने और लोकतंत्र में लोगों के विश्वास को मजबूत बनाने के लिए राजनीतिक दलों को सूचना के अधिकार कानून के दायरे में लाया जाना चाहिए।

तिरूवनंतपुरम : केंद्रीय मंत्री शशि थरूर ने शनिवार को कहा कि शासन में पारदर्शिता सुनिश्चित करने और लोकतंत्र में लोगों के विश्वास को मजबूत बनाने के लिए राजनीतिक दलों को सूचना के अधिकार कानून के दायरे में लाया जाना चाहिए।
‘सूचना का अधिकार कानून : आगे बढ़ने का रास्ता’ विषय पर यहां आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मानव संसाधन विकास राज्य मंत्री ने कहा, ‘‘राजनीतिक दल हमारे लोकतंत्र की जीवनरेखा हैं। इसलिए मेरा निजी विचार है कि इन्हें आरटीआई के दायरे में लाने में कोई बुराई नहीं है। जितना अधिक हम पारदर्शी होंगे, उनता ही अधिक हम लोगों का विश्वास हासिल कर सकेंगे।’’
थरूर ने यह जानना चाहा कि वामदलों के नेता जब यह दावा करते हैं कि उनकी सभी गतिविधियां पारदर्शी हैं तब वे राजनीतिक दलों को आरटीआई के दायरे में लाने का क्यों विरोध कर रहे हैं ? केंद्रीय मंत्री ने कहा कि उन्होंने संसद में अपने कई सदस्य मित्रों से इस बारे में चर्चा की है जिन्होंने बताया कि जिस तरह की सूचना आरटीआई के तहत मांगी जा सकती है, वह चुनाव आयोग से भी प्राप्त की जा सकती है।
उन्होंने कहा कि राजनीतिक दलों को आरटीआई के दायरे में लाने से व्यवस्था में और पारदर्शिता आयेगी। टूजी स्पेक्ट्रम घोटाला के मुद्दे पर उन्होंने कहा कि इससे जुड़ी काफी सूचनाएं जो प्रधानमंत्री कार्यालय से जुड़ी थी, वे आरटीआई कानून का उपयोग कर प्राप्त की गई और मीडिया में प्रकाशित हुई। (एजेंसी)

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