अगर आप भी ऑफिस में नौकरी करने के दौरान छुट्टियां नहीं लेते तो इससे आपको कितना फायदा हो सकता है. शायद ये बात आपसे पूछी जाए तो आपका जवाब 50 हजार या लाख रुपये में होगा.
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नई दिल्ली : अगर आप भी ऑफिस में नौकरी करने के दौरान छुट्टियां नहीं लेते तो इससे आपको कितना फायदा हो सकता है. शायद ये बात आपसे पूछी जाए तो आपका जवाब 50 हजार या लाख रुपये में होगा. लेकिन एक शख्स ने अपनी छुट्टियां नहीं लेने के बदले पूरे 21 करोड़ रुपये कमाए हैं. यह सुनकर भले ही आपको एक बार यकीन न हो लेकिन ये है पूरी तरह सच. दुनियाभर में भारतीयों की काम के प्रति लगन और कार्यशैली की तारीफ की जाती है. अधिकतर भारतीय कर्मचारी अपनी सिक लीव (बीमारी में जी जाने वाली छुट्टियां) का इस्तेमाल नहीं करते और साल के अंत में इन्हें भुना (पैसे लेना) लेते हैं.
नायक को पद्म विभूषण के लिए चुना गया
एक ऐसे ही इंडियन एम्पलाई ने अपनी सिक लीव के बदले 21 करोड़ रुपये कमा लिए. इस शख्स का नाम है अनिल मणिभाई नायक. अनिल मणिभाई नायक ने हाल ही में लार्सन एंड टब्रो (L&T) के नॉन एग्जीक्यूटिव चेयरमैन के पद से रिटायरमेंट ले लिया है. यहां पर जो छुट्टियां उन्होंने नहीं ली, उनके बदले उन्हें पूरे 21 करोड़ रुपये मिलेंगे. लार्सन एंड टर्बो ग्रुप को नई ऊंचाई पर ले जाने वाले अनिल मणिभाई नायक को भारत के दूसरे बड़े नागरिक सम्मान पद्म विभूषण के लिए चुना गया है.
नायक ने लार्सन एंड टब्रो को 1965 में बतौर जूनियर इंजीनियर ज्वाइन किया था. उन्हें इससे पहले 2009 में पद्म भूषण सम्मान से भी नवाजा जा चुका है. एल एंड टी की सालाना रिपोर्ट 2017-18 के अनुसार नायक को अपनी छुट्टियां इस्तेमाल नहीं करने के एवज में 21.33 करोड़ रुपये मिलेंगे. उनकी कुल पेआउट 137 करोड़ से ज्यादा था, जिसमें 2.7 करोड़ रुपये बेसिक सैलरी शामिल है. उनके रिटायरमेंट ग्रेच्युटी और अन्य लाभ करीब 100 करोड़ रुपये है. आपको बता दें कि नायक गांव के प्राइमरी स्कूल टीचर के पुत्र हैं.