सुशांत सिंह राजपूत (Sushant Singh Rajput) के सुसाइड मामले में अनुपम खेर का ट्वीट हुआ वायरल.
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नई दिल्ली: बॉलीवुड अभिनेता अनुपम खेर (Anupam kher) ने सुशांत सिंह राजपूत (Sushant SIngh Rajput) के सुसाइड मामले पर खुलकर बात की. उन्होंने कहा कि इतने उतार-चढ़ाव के बाद अब यह केस निर्णायक अंत तक पहुंचना चाहिए, क्योंकि उनके परिवार और फैंस को सच जानने का हक है. उन्होंने मंगलवार को ट्वीट किया, 'सुशांत के परिवार और फैंस को सच जानने का हक है. इतना कुछ कहा जा चुका है, इतनी सारी साजिशों की बातें चल रही हैं, लेकिन कौन किस साइड है, मुद्दा अब यह नहीं रहा, अब यह केस निर्णायक अंत तक पहुंचना चाहिए. हमें सच जानना है. #JusticeforSushant.' अब उनका यह ट्वीट वायरल हो रहा है. बता दें, सुशांत के साथ अनुपम खेर फिल्म 'एमएस धोनी' में साथ नजर आ चुके हैं.
अनुपम खेर ने एक वीडियो भी पोस्ट किया, जिसमें उन्होंने कहा, 'सुशांत सिंह राजपूत की मौत का किस्सा 14 जून से अब तक जहां पहुंचा है, इतने उतार-चढ़ाव के बाद तो इस पर न बोलना आंख मूंदने वाली बात है. बहुत दिनों तक मैंने नहीं बोला है या शायद बहुत से लोग नहीं बोलना चाह रहे क्योंकि समझ नहीं आ रहा कि क्या बोलें, लेकिन अब जो स्थिति एक नजर आ रही है, उसमें बिना किसी को दोष दिए हुए इतना तो हमारा फर्ज बनता है कि हम उसको एक लॉजिकल एंड तक लेकर जाएं.'
Sushant’s family & fans deserves to know the truth. So much has been said, there are so many conspiracy theories, but it is not about who stands on which side anymore, it is about ensuring, that this case reaches a logical conclusion. We must know the truth.#JusticeforSushant pic.twitter.com/leL6ItKFuu
— Anupam Kher (@AnupamPKher) August 4, 2020
वीडियो में उन्होंने आगे कहा, 'एक सह-कलाकार होने के नाते, एक को-एक्टर होने के नाते, एक इंसान होने के नाते, वह किसी का बेटा है, किसी का भाई है. हम सबने उसकी प्रशंसा की है और उसने बहुत अच्छा काम किया है. इस समय चुप रहना, जरूरी नहीं है कि हमें किसी को क्रिटिसाइज करना है. उसकी मौत का एक लॉजिकल एंड बहुत जरूरी है. यह कैसे हो सकता है, इसमें कौन कसूरवार है, और कौन नहीं है, यह फैसला तो होना ही चाहिए. न केवल मेरा, न उसके फैंस का, 50 हजार थ्योरी हैं, हम उससे एग्री करें या न करें, लेकिन उनके परिवार, रिश्तेदार इंसाफ के लिए लड़ रहे हैं. उनको तो हमको महसूस कराना चाहिए की हम उनके साथ हैं. आंख मूंदना तो कायरता की निशानी है और कायर होना अच्छी बात नहीं है.'