Police Officer: आइए आज ऐसे सोशल मीडिया ठग के बारे में बात करेंगे जो कुछ समय पहले लाल बत्ती लगी गाड़ियों के पास अपनी तस्वीर खींचवाकर वह सोशल मीडिया पर पोस्ट करता था और खुद को पुलिस अधिकारी बताता था. फिर एक दिन उसकी पोल खुल गई.
वैसे तो भारतीय प्रशासनिक सेवा और पुलिस सेवा के अधिकारी आए दिन सोशल मीडिया पर खूब चर्चा में रहते हैं और अपनी तस्वीरों के माध्यम से काफी फेमस हो जाते हैं. लेकिन एक ऐसा भी फर्जी शख्स था जो खुद को आईपीएस अधिकारी बताकर सोशल मीडिया पर खूब फेमस हुआ था. हैरानी की बात यह थी कि लंबे समय तक सोशल मीडिया पर लोगों को पता भी नहीं चल पाया था कि यह आदमी फर्जी है और फर्जी आईपीएस बना हुआ है.
असल में इस शख्स का नाम विकास यादव है. वह सोशल मीडिया पर ऐसी-ऐसी पोस्ट करता था जिसे देखकर कोई भी कंफ्यूज हो सकता है कि यह आदमी असल में क्या है. उसने सोशल मीडिया पर खुद को आईपीएस अधिकारी बताया था और यह भी बताया था कि उसने आईआईटी से पढ़ाई की है. लोग उस पर यकीन कर बैठे थे. यह शख्स मध्य प्रदेश के ग्वालियर का रहने वाला है और सिर्फ आठवीं तक पढ़ा है.
कुछ महीने पहले सोशल मीडिया पर इसने खुद को आईपीएस बताया और आईआईटी से पढ़ा हुआ बताया है. इसी के चलते इसके फॉलोअर्स की संख्या भी खूब बढ़ गई थी. इसके बाद इस शख्स ने लोगों को ठगना शुरू किया. हैरानी की बात यह है कि ये आरोपी शख्स तस्वीरें भी ऐसी पोस्ट करता था जिससे लोगों को लगा कि यह सच में आईपीएस है.
इतना ही नहीं सोशल मीडिया के जरिए उसने लड़कियों को पहले जाल में फंसाता था फिर ठगी को अंजाम देता था. उसके फर्जी चोले का खुलासा कुछ महीने पहले तब हुआ जब उसने दिल्ली स्थित संजय गांधी अस्पताल की एक डॉक्टर से पच्चीस हजार रुपए ठग लिए. डॉक्टर ने मामले की शिकायत पुलिस से कर दी और फिर मामले की जांच हुई तो विकास अरेस्ट हो गया और उसकी सारी पोल खुल गई थी.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक बताया जा रहा है कि कुछ इसी तरह के मामले उस पर यूपी और ग्वालियर में भी दर्ज हुए थे. रिपोर्ट्स के मुताबिक इसने सोशल मीडिया पर अपना नाम विकास यादव रखा है और यह दिल्ली स्थित मुखर्जी नगर के एक होटल में काम करता था. फिर यही से इसने फर्जी आईपीएस बनने का खेल रचा. यह काफी पहले अरेस्ट हो चुका है लेकिन हाल ही में इसकी तस्वीरें सामने आईं तो यूजर्स इसकी कहानी बताने लगे.
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