Jharkhand: बूढ़ा पहाड़ में 35 साल तक रहा नक्सलियों का कब्जा, अब बदले हालत... लोग चुनेंगे सरकार

Lok Sabha Election 2024: बूढ़ा पहाड़ इलाके के एक तरफ झारखंड और दूसरी तरफ छत्तीसगढ़ है. यहां पर करीब 32 साल तक नक्सलियों का कब्जा रहा.

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Apr 19, 2024, 04:27 PM IST
  • इलाके में 40 कंपनियां तैनात
  • बूढ़ा पहाड़ इलाके में 27 गांव
Jharkhand: बूढ़ा पहाड़ में 35 साल तक रहा नक्सलियों का कब्जा, अब बदले हालत... लोग चुनेंगे सरकार

नई दिल्ली: Lok Sabha Election 2024: लोकसभा चुनाव 2024 के लिए पहले चरण की वोटिंग जारी है. 7 चरणों में चुनाव होने हैं. इस बार झारखंड में नक्सल प्रभावित बूढ़ा पहाड़ इलाके में लोग करीब 35 साल बाद EVM का बटन दबाकर देश की सरकार चुनेंगे. 

20 हजार लोगों की आबादी
बूढ़ा पहाड़ इलाके के एक तरफ झारखंड और दूसरी तरफ छत्तीसगढ़ है. एक समय पर यह माओवादी नक्सलियों का सबसे गढ़ हुआ करता था. यहां रहने वाले 20 हजार लोग नक्सलियों का हर हुक्म मानने के लिए मजबूर थे. 

ऑपरेशन ऑक्टोपस से हुआ सफाया
सुरक्षा बलों और पुलिस की ओर से चलाए गए 'ऑपरेशन ऑक्टोपस' ने यहां के हालात बदल दिए. करीब 32 साल की मशक्कत के बाद सितंबर 2022 में इस क्षेत्र को नक्सलियों से आजाद करवाया गया. 16 सितंबर, 2022 को नक्सलियों को खदेड़ने के बाद पहली बार एयरफोर्स का MI हेलीकॉप्टर यहां उतारा गया था. तब कहा गया कि इस क्षेत्र को 'नई आजादी' मिल गई है. 

अब भी 40 कंपनियां तैनात
इस इलाके में अब भी सुरक्षाबलों की 40 कंपनियां तैनात की गई हैं. 55 वर्ग किलोमीटर में फैले इस इलाके में बीते डेढ़ साल में लोगों का जीवन काफी बदल गया है. सुरक्षाबलों ने सामुदायिक पाठशाला भी शुरू की हैं. 

इलाके में 27 गांव
यह इलाका दो लोकसभा क्षेत्रों में आता है. पलामू और चतरा लोकसभा सीट में यहां के इलाके आते हैं. पलामू में 13 मई को वोटिंग होगी. चतरा में 20 मई को वोट डाले जाएंगे. बूढ़ा पहाड़ इलाके में करीब 27 गांव हैं, ये 89 टोलों में बंटे हैं. इनकी  कुल आबादी 19 हजार 836 है.

ये भी पढ़ें- चुनाव आयुक्त तो कई रहे, पर TN शेषन एक ही हुए... कहते थे- मैं नाश्ते में नेता खाता हूं

Zee Hindustan News App: देश-दुनिया, बॉलीवुड, बिज़नेस, ज्योतिष, धर्म-कर्म, खेल और गैजेट्स की दुनिया की सभी खबरें अपने मोबाइल पर पढ़ने के लिए डाउनलोड करें ज़ी हिंदुस्तान न्यूज़ ऐप.

ट्रेंडिंग न्यूज़