Chota Pitra Paksha 2023: इस पूरे महीने सूर्य देव का पूजन और अनुष्ठान किए जाते हैं. मान्यतानुसार इस माह में शुभ कार्यों को करने की मनाही होती है. पौष माह में श्राद्ध कर्म और पिंडदान करना बेहद फलदायी होता है. चलिए जानते हैं पौष माह में क्या करें और क्या न करें.
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Paush Month 2023: मार्गशीर्ष महीने के बाद पौष महीने की शुरुआत होती है. इस माह को पूस के नाम से भी जानते हैं जिसकी शुरुआत दिसंबर माह की पूर्णिमा या अमावस्या से हो जाती है. इस बार पौष माह 27 दिसंबर 2023 बुधवार से होगी. ये पूरा माह ग्रहों के राजा सूर्य देव को समर्पित होता है इसलिए इस पूरे महीने सूर्य देव का पूजन और अनुष्ठान किए जाते हैं. मान्यतानुसार इस माह में शुभ कार्यों को करने की मनाही होती है. पौष माह में श्राद्ध कर्म और पिंडदान करना बेहद फलदायी होता है. चलिए जानते हैं पौष माह में क्या करें और क्या न करें.
पौष माह में क्या करें
1. पौष माह में धार्मिक कार्यों की शुरुआत की जा सकती है.
2. इस माह में रोजाना सुबह जल्दी उठकर सूर्य देव को तांबे के लोटे से जल अर्पित करना चाहिए.
3. आपको जल में लाल फूल और रोली मिलाकर सूर्य देव को अर्पित करना चाहिए.
4. पौष माह में 'ॐ आदित्याय नमः' मंत्र का जाप अवश्य करना चाहिए.
पौष माह में क्या न करें
1. इस माह में देवों के राजा सूर्यदेव और भोले शंकर का पूजन किया जाता है.
2. पौष माह में घी, अरहर की दाल और चावल की खिचड़ी का दान करना बेहद शुभ माना जाता है.
3. इस माह में सभी प्रकार के शुभ और नए कार्यों को करना वर्जित होता है.
4. जो लोग पौष माह का सख्ती से पालन करते हैं उनको गले में पान के पत्ते की जड़ या लकड़ी को लाल धागे में बांधकर पहनना चाहिए.
5. इस पूरे माह पूजा-पाठ की जाती है और तांबे के बर्तनों का दान दिया जाता है.
सूर्य देव के मंत्र
ॐ घृणि सूर्याय नम:
ॐ ह्रीं ह्रीं सूर्याय सहस्रकिरणराय मनोवांछित फलम् देहि देहि स्वाहा
ॐ ऐहि सूर्य सहस्त्रांशों तेजो राशे जगत्पते, अनुकंपयेमां भक्त्या, गृहाणार्घय दिवाकर:
ॐ ह्रीं घृणिः सूर्य आदित्यः क्लीं ॐ
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)