Desi Jugaad: बारिश में भर जाता था घर, पाजी ने जुगाड़ से बिस्तर को बना डाला 'सिंघासन'- देखें Video
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Desi Jugaad: बारिश में भर जाता था घर, पाजी ने जुगाड़ से बिस्तर को बना डाला 'सिंघासन'- देखें Video

Desi Jugaad In Monsoon: पटियाला में रहने वाले 64 वर्षीय आकाशवाणी के पूर्व डायरेक्टर अमरजीत वारिच ने अपने घर में बाढ़ से बचाव का एक खास इंतजाम किया है. अमरजीत ने 45,000 रुपये से ज्यादा खर्च करके लोहे के विशेष एंगल लगवाए हैं और अपना फर्नीचर उन एंगलों पर रखवा दिया है.

 

Desi Jugaad: बारिश में भर जाता था घर, पाजी ने जुगाड़ से बिस्तर को बना डाला 'सिंघासन'- देखें Video

Desi Jugaad In Rain: जैसे ही बारिश शुरू होती है तो कई इलाकों में यह डर बैठ जाता है कि कहीं उनके घरों में पानी न भर जाए. हालांकि, पटियाला के शख्स ने इससे निजात पाने के एक जुगाड़ खोज लिया है. दरअसल, पटियाला के निचले इलाकों में बारिश का मौसम आने का डर सताता रहता है. पंजाब के इस शहर में घग्गर नदी और मुख्य नालों से पिछले साल 2023 आई भयानक बाढ़ आई थी. इस साल भी इन नदियों और नालों में गाद भरने लगी है. पटियाला में रहने वाले 64 वर्षीय आकाशवाणी के पूर्व डायरेक्टर अमरजीत वारिच ने अपने घर में बाढ़ से बचाव का एक खास इंतजाम किया है.

बाढ़ से बचने के लिए घर में लगवाए एंगल

अमरजीत ने 45,000 रुपये से ज्यादा खर्च करके लोहे के विशेष एंगल लगवाए हैं और अपना फर्नीचर उन एंगलों पर रखवा दिया है. दरअसल, उन्हें पिछले साल आई बाढ़ से अपने लाखों रुपये के फर्नीचर के खराब होने का डर है. अमरजीत ने इंडिया टुडे टीवी को बताया, "हमें सरकार पर भरोसा नहीं है. यहां से आम आदमी पार्टी के मंत्री डॉक्टर बलबीर सिंह हैं. वो यहां आए थे और फोटो खिंचवा के चले गए. लेकिन मुझे नहीं लगता सरकार ने कोई खास मदद की है. इसीलिए, मैंने ये एंगल लगवाए हैं." अमरजीत अपने बिस्तर पर चढ़ने के लिए कुर्सियों का इस्तेमाल करते हैं, जो कि दो फुट से भी ज्यादा ऊंचा है.

एक अन्य ने भी घर के बार खड़ी कर दी बांध

अमरजीत की तरह ही अन्य निवासी भी अपने घरों की सुरक्षा के लिए सक्रिय कदम उठा रहे हैं. रिटायर्ड ब्यूरोक्रेट मंजीत सिंह नारंग ने संभावित जल प्रवेश को रोकने के लिए अपने घर के चारों ओर तीन फुट की बाधा खड़ी कर दी है. एक कपल ने बताया कि हमने पहले ही कुछ फर्नीचर और गैस का चूल्हा ऊपर वाली मंजिल पर ले जा चुके हैं.  उन्होंने घर का बीमा करवाया था लेकिन 12 लाख रुपये के फर्नीचर और इलेक्ट्रॉनिक्स के नुकसान पर उन्हें सिर्फ 1 लाख रुपये ही वापस मिले. इस बीच, पटियाला जिले के गांवों में, खासकर किसानों को घग्गर नदी के बढ़ते जलस्तर के कारण अपने धान के खेतों में बाढ़ आने की चिंता सता रही है.

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